दर्द से ऊपर निकलना चाहिए ; छिपा जो आनन्द लखना चाहिए। झाँकना सृष्टि में सूक्ष्म चाहिए; चितेरे बन चित्त से तक जाइए। सोचना क्यों हमको इतना चाहिए; हो रहा जो उसको उनका जानिए। समर्पण कर बस उसे चख जाइए; प्रकाशों की झलक फिर पा जाइए। मिला मन को इष्ट के […]
भर आए आँख आँसू,बलिदानी याद आए, ऐसी एक कविता सुनाना चाहता हूँ मैं॥ सुखदेव,राजगुरु और भगतसिंह जी, कैसे चढ़े फांसी,ये बताना चाहता हूँ मैं॥ रोज-रोज लड़ रहे हम सब आपस में, ऐसे लोगों को अब जगाना चाहता हूँ मैं॥ देश में पनप रही आतंकवादी बेल जो, उसे ढूँढ जड़ से […]
हे मां,तेरी है शान निराली, आभा अद्भुत चमकत न्यारी। तेरे सारे पेड़ ये झूमें, हवा के शीतल झोंकों से मन भी कंपित-सा होकर भरता पंछी बन उडारी। हे मां,तेरी […]
एक चाँद घूँघट से निकला, निकला एक आसमान से। ईद मनाली यारा हमने, परसों वाली शाम से॥ संग एक सितारे थे, वो भी क्या नज़ारे थे। घूँघट में हुआ दीदार यारा, परसों वाली शाम से॥ चाँद बादलों में छिप गया, हवा से घूँघट सरक गया। उनकी हमसे हो गई आँखें […]
पहले जल-सी शीतल थी, अब आग के जैसे दहकती है.. सुनो इनकी आवाजों को, ये हवाएँ भी कुछ कहती हैं। पहले इनसे राहत थी, अब यही तकलीफ देती है… इसमें इनका कोई दोष नहीं, हम इंसानों की ही गलती है… सुनो इनके दर्द को, ये हवाएँ कुछ कहती हैं। ये […]
आज वतन है खतरे में, वीरों निकलो सीना तान। देखो पाक-नापाक हरकत, छद्म युद्ध दिया है ठान॥ चाहे पठानकोट की हो घटना, चाहे मुम्बई की आतंकी दौर। नित शहीद हो रहे सीमा पर, नेतागण करते भाषण दौर॥ विवश ‘अजा’-सी मरते देख, कर पाते न शाश्वत प्रतिकार। जिससे फिर देखने का […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।