साहित्य मनुष्य को मनुष्यता की ओर ले जाता है-प्रो. द्विवेदी भाषा के प्रति श्रद्धा और संकल्प की आवश्यकता- प्रो. अरोड़ा नई दिल्ली। देश में तेज़ी से उभरते संस्मय प्रकाशन द्वारा आज अपने चयनित 19 रचनाकारों को संस्मय सम्मान से सम्मानित दिल्ली के कॉन्स्टिट्यूशन क्लब ऑफ़ इंडिया में किया गया। आयोजन […]

मातृभाषा उन्नयन संस्थान व माता जीजा बाई कन्या महाविद्यालय ने किया संयुक्त आयोजन इंदौर। मातृभाषा उन्नयन संस्थान व माता जीजाबाई शासकीय स्नातकोत्तर कन्या महाविद्यालय ने संयुक्त रूप से ‘शब्दांजलि’ आयोजित कर शताब्दी पुरुष पद्मश्री प्रो. रामदरश मिश्र जी को श्रद्धांजलि दी। महाविद्यालय परिसर में आयोजित इस आयोजन में प्राचार्य डॉ. […]

इंदौर। देश के सुप्रसिद्ध साहित्यकार, पद्मश्री प्रो. रामदरश मिश्र का आज शाम राजधानी दिल्ली में निधन हो गया है। प्रो. रामदरश मिश्र जी का जन्म 15 जून 1924 को गोरखपुर जिले के कछार अंचल के गाँव डुमरी में हुआ था। आपके पिता रामचन्द्र मिश्र और माता कमलापति मिश्र हैं। प्रो. […]

इंदौर। ढाई आखर और जीवन शाला के संयुक्त तत्वावधान में विसर्जन आश्रम में ‘ढाई आखर’ का नवां आयोजन उत्साहपूर्वक संपन्न हुआ। कार्यक्रम की शुरुआत किशोरी कबीर गायिका हंसिका के सुमधुर भजन से हुई। इसके बाद खेलों के माध्यम से आपसी परिचय कराया गया। सुरेश पटेल ने ढाई आखर की अवधारणा […]

इंदौर प्रेस क्लब के कार्यक्रम में शामिल हुए डॉ. सचिन शर्मा मातृभाषा उन्नयन संस्थान ने किया अभिनंदन इंदौर। देवी अहिल्या विश्वविद्यालय महाविद्यालयीन विकास परिषद् के निदेशक डॉ. सचिन शर्मा ने कहा कि ‘उनकी कोशिश रहेगी कि शिक्षकों का सम्मान क़ायम रहे। छात्र-शिक्षक और कॉलेज संचालकों के बीच समन्वय और बेहतर […]

कविता लोकरंजन का नहीं, लोकमंगल का विषय- श्रद्धा शौर्य इन्दौर। कविता के मंच पर आपकी प्रस्तुति ही आपके भविष्य को तय करती है, यह बात कवि सम्मेलन के मंचों पर आने वाले हर व्यक्ति के लिए आवश्यक है। वैसे भी कविता लोकरंजन का नहीं, लोक मंगल का विषय है। यह […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।