माना कि हालात बेकाबू हो गए कई बार

0 0
Read Time1 Minute, 2 Second

rupesh jain

माना कि हालात बेकाबू हो गए कई बार

जब भी वक़्त नासाज हुआ

हर बार भरोसा रखा मैंने 

या ख़ुदा तेरे भरोसे को क्या हुआ

कभी लगता है सँभल गया

कभी यों ही बिगड़ गया

वक़्त ऐसा 

जैसे रेत का बुत मुठ्ठी से फिसल गया

रोकना तो चाहा हमेशा पर

लम्हा इतना अजीब है

क्यों न समझ सका वो तड़प दिल की 

साथ रहकर भी

छोड़कर तुम जहां से गए थे 

मैं आज भी वहीँ खड़ा हूँ

यूँ तुम तो सम्हल गए होंगे

मैं आज भी बिखरा पड़ा हूँ

इस दिल में रहोगे ता-उम्र

फिर क्यूँ डरते हो

पाक है मोहब्बत मेरी

यूँ नजरे चुरा के ना निकलो

इंतिज़ार है तेरे इक इशारे का

आगे खूबसूरत जहाँ पड़ा है

तेरे बिना वर्ना

दर्द का दरिया ‘राहत’ आँखों से बहता है

 

#डॉ. रूपेश जैन ‘राहत’

matruadmin

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Next Post

नरेंद्र पाल जैन : गीत की गूंज का चमकता सितारा

Mon Oct 1 , 2018
रश्मिरथी नरेंद्र पाल जैन : गीत की गूंज का चमकता सितारा डॉ अर्पण जैन ‘अविचल’ राजस्थान की धरती के जिला उदयपुर के ग्राम ऋषभदेव में  पिता श्री श्रीपाल जी और माता श्रीमती कमलादेवी की संतान के रूप में जन्मे नरेंद्रपाल बचपन से प्रतिभाशाली और कला-साहित्य के क्षेत्र में सक्रिय है। […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।