बचपन

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surendra aagi
कि अब नहीं उड़ती धूल मेरी गली में,
नहीं गूंजता बच्चों का शोर मेरी गली में।
न कोई कुल्फी वाला,और न चाट वाला,
अब कोई नहीं आता जादू दिखाने वाला।
अब नहीं खेलते बच्चे रेस टीप गिल्ली, डंडा भौंरा बॉटी,
अब नहीं दिखते बच्चे लोटते धूल में और लपेटे माटी।
अब नहीं मिटाते पैर से बच्चे किसी गुड़िया के बनाए घरघुंदिए को,
बहती बरसाती पानी में छप-छपकर चलते बच्चे।
कागज की नाव चलाते हवाई जहाज उड़ाते,
एक-दूसरे की कमीज पकड़े रेलगाडी चलाते।
मुँह पर हथेली रख कु…की आवाज लगाते,
नहीं दिखते मेरी गली में।
सोचता हूं जमाना अब कितना
बदल रहा है,
देश डिजिटली मजबूत हो रहा है,
या इंसान फिजिकली कमजोर।
बचपन कैद हो रहा है टीवी और मोबाईल में,
संवाद बंद हो रहे फेसबुक-वाट्सअप के प्रोफाईल में।
बंद हो गए रामधुन,गीता और रामायण,
यत्र-तत्र सर्वत्र डीजे का शोर और पॉप रेप का गायन॥
गुम होती भारतीय संस्कृति और सभ्यता को बचा लो,
फिर से वही शोर गुंजा दो मेरी गली में॥
                                                                    #सुरेन्द्र अग्निहोत्री ‘आगी’
परिचय: सुरेन्द्र अग्निहोत्री ‘आगी’ ने बी.काम.और डी.एड. के साथ ही  एम.ए(हिन्दी तथा इतिहास) भी किया है। १९६२ में ६ जुलाई को जन्मे और पढ़ाई के बाद शिक्षक बने। आप छत्तीसगढ़ के जिला महासमुन्द में निवास करते हैं। छत्तीसगढ़ी और हिन्दी भाषा में आपकी २ किताब शीघ्र ही छपकर आने वाली हैं।

matruadmin

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डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।