क्या कोरोना पर अमेरिका-चीन का तनाव कम होगा?

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  जब चीन द्वारा दी गई कोरोना रूपी विश्व चुनौती का सामना सबसे अधिक अमेरिका को करना पड़ रहा है, तो अमेरिका चीन को दण्ड दिये बिना शांत कैसे हो सकता है? जबकि यह दोनों सशक्त देश बड़े व्यापारी हैं और घाटा खाना किसी को भी प्रिय नहीं है।
  उल्लेखनीय यह भी है कि उपरोक्त दोनों राष्ट्र शक्तिशाली एवं अविश्वसनीय हैं। दोनों ही शक्तियां वीटो पावर से लैस हैं। दोनों की नाक ऊंची है। जबकि चीन ने संयुक्त राष्ट्र संघ में अपना प्रभुत्व उसके द्वारा कोरोना पर चीन के पक्ष में बयान दिलवा कर प्रमाणित कर दिया है। जिसके कारण अमेरिका तो क्या दूसरे वीटो पावर देश फ्रांस, रूस, यूके सहित विश्व के अन्य देश भी चीन पर नाराज़ एवं संयुक्त राष्ट्र संघ से निराशा हैं। क्योंकि समय रहते जानकारी न मिलने के कारण उचित उपचार संभव नहीं हुआ‌। जिसके फलस्वरूप प्रत्येक राष्ट्र अपने नागरिकों के अनमोल जीवन को बचाने में सफल नहीं हो सका। जिसके लिए समस्त देश अत्यंत दुखी हैं।
  सर्वविदित यह भी है कि चीन के कोरोना महामारी के कारण वैश्विक आर्थिक तंगी आ गई है। जिससे कोई भी व्यक्ति अथवा देश अछूता नहीं है। जिसका मूल जन्मदाता चीन है। इसलिए अमेरिका-चीन का तनाव कम नहीं हो सकता। भय यह भी है कि उपरोक्त तनाव कहीं तृतीय विश्व युद्ध का रूप धारण न कर ले।

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संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।