प्रार्थना पत्र 06

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सेवा में,
श्री नरेंद्र मोदी जी,
प्रधानमंत्री भारत सरकार,
नई दिल्ली।
दिनांक: 14 जनवरी-2020।
विषय: नागरिकता संशोधन कानून CAA के पक्ष में पदयात्रा की शीध्र अति शीघ्र अनुमति हेतु आवेदन पत्र।

आदरणीय महोदय
आदरणीय माननीय सम्माननीय सशक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी आपके मन की बात से प्रेरित और प्रभावित होकर सी.ए.ए. के पक्ष में यात्रा समबंधित अनुमति हेतु यह मेरा 6वां प्रार्थना पत्र है।जिसकी प्रतिलिपियां अणुडाक द्वारा अपने सांसद जुगल किशोर शर्मा जी सहित सांसद शमशेर सिंह मन्हास जी व डा.जतिंद्र सिहं जी केंद्रीय राज्य मंत्री को भी हमेशा से भेजता हूँ।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी मैं इंदु भूषण बाली ‘प्रधानमंत्री को लिखो’ वाली सरकारी वैबसाईट से सी.ए.ए. के पक्ष में कांग्रेस अध्यक्षा सोनिया गांधी, उपाध्यक्ष राहुल गांधी एवं प्रियंका गांधी को चुनौती देता हूँ कि वह एक साथ खुले मंच पर मेरे साथ नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 पर बहस कर लें।उन्हें मानवता व राष्ट्रप्रेम के प्रति अपनी अज्ञानता का ज्ञान हो जाएगा। दूध का दूध व पानी का पानी हो जाएगा।मेरा विश्वास है उन्हें पीड़ित/प्रताड़ित एवं उत्पीड़ित शरणार्थियों/मानवों की विकराल असहनीय पीड़ा का एहसास हो जाएगा।
उनके साथ-साथ अन्य विरोधी दलदलों/शत्रु देशों को भी पता चल जाएगा कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी एवं गृहमंत्री अमित शाह जी पाकिस्तान,अफगानिस्तान व बंगलादेश से आए उत्पीड़ित हिंदु, सिख, जैन इत्यादि शरणार्थियों को नागरिकता देने के लिए क्यों संघर्षशील हैं? क्यों पी.ओ.के को पाकिस्तान की क्रूरता से मुक्त कराने के लिए अपनी जान तक देने के लिए तैयार हैं?
प्रधानमंत्री जी कड़वा सच तो यह है कि पाक की आईएसआई व कांग्रेस एक ही सिक्के के दो पहलू हैं।जिसका प्रमाण सामने आ रहा है कि जो बात पाकिस्तान करता है।उसी का अनुसरण कांग्रेस कर रही है। यही नहीं धारा 370 व 35ए भी कांग्रेस व उसके चहेते कश्मीरी नेताओं के स्वार्थ का कालाचिट्टा था।जिसे आपने समाप्त कर दिया है।इसलिए कांग्रेस व उसके सहयोगियों का पेट खराब हो रहा है।जो देश के 130करोड़ देशवासियों के नाम पर काला धब्बा हैं।
उल्लेखनीय यह भी है कि कश्मीर में पत्थरबाजी, आगजनी व हिंसा भी कांग्रेस व उसके सहयोगियों की ही देन है।इसलिए जब कश्मीरी पंडितों को कश्मीर से भगाया जा रहा था तो राज्यपाल जगमोहन जी ने कड़ी कार्यवाही की थी।मगर कांग्रेस ने उन्हें जम्मू-कश्मीर से उठा कर दिल्ली बुला लिया था।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी एवं गृहमंत्री अमित शाह जी ऊपरोक्त चुनौतियां/आरोप मैं साक्ष्यों से सिद्ध कर सकता हूँ।आदरनीयों सिद्ध कर दूंगा कि न्यायपालिका की न्यायालयों में तारीख पर तारीख कांग्रेस कुरीतियों का दुष्परिणाम हैं।जिन्होंने पवित्र न्याय का मंदिर माने जाने वाली न्यायालयों को किन-किन भद्देयालयों में बदल दिया है।ईश्वर ही जानता है।जहां पर संसद व विधानसभाओं की तर्ज पर पारदर्शिता एवं सीसीटीवी की अति आवश्यकता है।ताकि पीड़ितों को शीघ्र व सम्पूर्ण न्याय मिल सके।
प्रधानमंत्री जी सर्वविधित है कि अंग्रेज सरकार एवं उनकी न्यायालय तारीख पर तारीख ना देकर तुरंत निर्णय करती थी।यह मेरे निजि अनुभव हैं।जिनके आधार पर ‘राष्ट्र के नाम संदेश’ सहित मेरी (1) वेयर इज कांस्टीचयूशन? ला एण्ड जस्टिस? (अंग्रेजी) (2) कड़वे सच (हिंदी) (3) मुझे न्याय दो (हिंदी) (4) फिट्’टे मूंह तुंदा (डोगरी) (5) मेरियां इक्की गज़लां (डोगरी) (6) मैं अद्वितीय हूँ (हिंदी)(7) व्यथा मेरी (हिंदी) प्रकाशित पुस्तकों के माध्यम से राष्ट्रहित में सम्पूर्ण देशवासियों को बताने का अथक प्रयास कर रहा हू।चूंकि कांग्रेस के पाप का घड़ा भर चुका है।परिवर्तन होना आरम्भ हो चुका है और देश व देशवासियों की सुरक्षा सदृड़ हाथों में आ चुकी है।जिसे राष्ट्रभक्तों के समर्थन की अति आवश्यकता है।
प्रधानमंत्री जी कांग्रेस राष्ट्रभक्तों का निरंतर अपमान कर रही है।बात स्वभाविक है कि भारत-रतन सावरकर जी जैसे राष्ट्रीय क्रांतिकारियों को नहीं देना तो क्या सोनिया गांधी,राहुल गांधी या प्रियंका गांधी को देना है?
प्रधानमंत्री जी भ्रष्टाचार, फर्जीबाड़ा एवं देशभक्तों का रक्त चूसना कांग्रेस की मूलभूत सोच में शामिल है।जिसका भंयकर परिणाम देश के ईमानदार पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय लाल बहादुर शास्त्री जी भुगत चुके हैं।इसलिए यदि पूर्व स्वर्गीय प्रधानमंत्रीयों की दुर्धटनाओं की निष्पक्ष चांच हो तो कई कड़वे सचों पर से पर्दा उठेगा।यह मेरा दावा है।
प्रधानमंत्री जी इससे पहले कि कांग्रेस देश की सम्पत्ति को ओर जलाने, हिंसक भीड़ से पुलिस को मरवाने व देश के विभिन धर्मों में ‘फूट डालो और राज करो’ वाली अंग्रेजी नीति के अंतर्गत दंगे भड़काने में सफल हो मुझे पदयात्रा की अनुमति दें।
मुझे पदयात्रा की अनुमति दें।ताकि कांग्रेस पाकिस्तान को लाभ ना पहुंचा सके।ताकि राहुल गांधी के बयान पर अब पाकिस्तान संयुक्त राष्ट्र संघ में धारा 370 की भांति दुबारा ना जा सके और भारत के नागरिकों को संवैधानिक सम्पूर्ण अधिकार मिल सकें,पदयात्रा की अनुमति दें।भारत दिन-रात उन्नति करे और कांग्रेस उस उन्नति में बाधा न बनें, मुझे पदयात्रा की अनुमति दे दें।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी एवं गृहमंत्री अमित शाह जी चूंकि कांग्रेस के हथकंडों को मैं कई दशकों से झेल रहा हूँ।इसलिए नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के पक्ष में पदयात्रा रूपी राष्ट्रीय जनचेतना की अलख जगाने के कारण क्रूर कांग्रेस आईएसआई की सहायता से मेरी हत्या करवा दे, उससे पहले मुझे पदयात्रा की अनुमति देकर कृतार्थ करें। चूंकि राष्ट्र सर्वोपरि है।सम्माननीयों
जय हिंद

प्रतिलिपि सेवा में : (1) माननीय सांसद डा जितेंद्र सिंह जी, शमशेर सिंह मन्हास जी एव जुगल शर्मा सहित
(2) माननीय डीसी जम्मू और एसडीएम अखनूर व एसडीएम खौड़ एव कई अन्यों को सूचना एवं शीघ्र उचित कार्यवाही हेतु अणुडाक अर्थात इमेल द्वारा सादर भेज दी हैं। सम्माननीयों

ग़ज़ल

जागो भारत के शूरवीरो।
उठो भारत के युद्धवीरो।।

राष्ट्र की आवश्यकता है।
समर्थन करो कर्मवीरो।।

सहायता हमारी परम्परा।
धरम निभाओ धरमवीरो।।

दर पर जो हमारे आए हैं।
अब दान करो दानवीरो।।

सभ्यता हमारी प्राचीन है।
तुम आगे बढ़ो परमवीरो।।

प्रार्थी
इन्दु भूषण बाली
स्वयंसेवक पत्रकार चिंतक आलोचक लेखक शोधकर्ता एवं भारत के राष्ट्रपति पद का पूर्व प्रत्याशी
समीप महावीर मंदिर खौड़ कैंप
डाकघर व तहसील खौड़
जिला जम्मू
प्रदेश जम्मू व कश्मीर

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आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।