भुलाई न जाएगी

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naveen mani
जो बात है सही,वो छुपाई न जाएगी।
झूठी कसम तो आपकी खाई न जाएगी॥
बस हादसे ही हादसे मिलते रहे मुझे।
लिक्खी खुदा की बात मिटाई न जाएगी॥
चेहरे हैं बेनकाब यहाँ कातिलों के अब।
लेकिन सजा-ए-मौत सुनाई न जाएगी॥
ज़ाहिद खुदा की ओर मुखातिब न कर मुझे।
काफ़िर हूँ मैं,नमाज़ पढ़ाई न जाएगी॥
कितने थे बेकरार तेरे इंतजार में।
बरसात की वो रात भुलाई न जाएगी॥
देखा जो उसने आपको जबसे निगाह भर।
ऐसी लगी है आग,बुझाई न जाएगी॥
यूँ मैकदा से हो के हैं लौटे तमाम रिन्द।
शायद अभी शराब पिलाई न जाएगी॥
गुजरेगी उम्र आपकी बस तिश्नगी के साथ।
चिलमन तो अपने-आप हटाई न जाएगी॥

           #नवीन मणि त्रिपाठी

परिचय : नवीन मणि त्रिपाठी कानपुर(उत्तरप्रदेश)के अर्मापुर रियासत में रहते हैंl आपका जन्म १९७५ का हैl 

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