मैं हिंदी हूँ l देश की बिंदी हूँ l मेरा जन्म विरोधों में हुआ है l जन्म से ही मारने का जतन हुआ है l मैं तुलसी की बिरवा की भाँति – हर भारतीय के घर और जुबां पर बसती रही हूँ l स्वर और व्यंजन मेरे दो संतान हैं, […]

 सहयोग प्रकाशन जमशेदपुर से प्रकाशित यात्रा वृत्तांत सफर श्रृंखला पुस्तक डॉ आशा श्रीवास्तव द्वारा लिखी गई बेहद रोचक, ज्ञानवर्धक एवं सारगर्भित हिंदी की रचना है l इस पुस्तक की भाषा इतनी सरल है कि विद्यालय में पढ़ने वाले छोटे-छोटे छात्र भी पढ़ कर आसानी से समझ सकते हैं l इस […]

नाजों से पली मधु को शादी से पहले इस बात की भनक तक न थी कि शादी के बाद उसे प्रतदिन रोना पड़ेगा l संयुक्त परिवार की बेटी मधु के आँखों में आँसू देख उसके बड़े ताऊ आसमान सिर पर उठा लेते थे l इसलिए परिवार के सभी बच्चे मधु […]

हिन्दुओं के पर्व त्योहारों का संक्षिप्त परिचय  भारत में सालों भर कोई ना कोई पर्व त्योहार अवश्य मनाया जाता है l प्रतिवर्ष 1 जनवरी को आंग्ल नववर्ष के रूप में मनाया जाता है l नववर्ष की तैयारी के लिए   लोग 31 दिसंबर की रात से ही तैयारी करते हैं l […]

सबके मन में “शिक्षा में सुधार कैसे हो ? “यह विचार रहता है। नेता, मीडिया, पदाधिकारी से लेकर आम आदमी हर कोई इसमें सुधार हेतु प्रयासरत हैं। सब अपनी तरफ से किये गये प्रयासों की सराहना चाहते हैं, पर किसी को वास्तव में शिक्षा में सुधार हो रहा है या […]

सनाया तीन बहनों में सबसे बड़ी थी। उसकी शादी हो चुकी थी। उसकी दो छोटी बहनें शहर के प्रतिष्ठित कॉलेज में पढ़ती थीं। सनाया का प्रायः अपने मायके आना-जाना होता रहता था। इस कारण वह मायके में होने वाले हर हलचल से परिचित रहती थी। उसकी दोनों बहनें सुन्दर होने […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।