प्रेम तो मन के भावों की पावन अभिव्यक्ति होती है, वात्सल्य माँ की शिशु भाव-सी अदभुत शक्ति होती है। माँ गंगाजल जैसी निर्मल मन्दिर-मस्जिद-गुरुद्वारा है, चातक-सी है अमर समर्पण पतंगे-सी प्रेम परस्ती है। छल छिद्र नहीं हो छद्म कोई न बस चाहत की अभिलाषा, कहना है ‘शिवम्’ तुमसे ये मेरा […]

कभी बृज में बजी थी रागिनी-सी लग रही हो तुम, शरद के चन्द्रमा की चांदनी-सी लग रही हो तुम। दिल के तालाब में बनकर कमल उतर जाओ, आज बस एक मेरे प्रेम में संवर जाओ। हो अगर फूल तो,बदहाल मन के आंगन में, अपनी गंधों के रंग आ के यहाँ […]

रेखा मोहल्ले की सबसे सुंदर लड़की थी। हर कोई उसके लिए जान देने को तैयार था। रेखा को पढ़ने का शौक था। वह मनोविज्ञान की प्राध्यापक बनना चाहती थी। उसका मानना था कि,समाज में बहुत से लोग मानसिक बीमारी का शिकार हैं,लेकिन उसे नहीं मालूम था कि,लोगों की मानसिकता को बदलना […]

तव पद में मम माथ है गुरुवर, मम माथे तेरा कर हो तव आशीष तले मम चेतन मम जीवन पावन कर दोl अदभुत है संयोग ये गुरुवर, `मलप्पा श्रीमती` सुत का `शरद पूर्णिमा` के तुम चंदा संग सूर्य सम यतिवर होl शब्द नहीं,सुर-ताल न जानूं , फिर भी अज्ञ करे […]

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दोष नजरों को न दो,के शीशा टूट जाएगा, बिखरी जुल्फों को जरा संवर जाने दो। न सोच के अंजाम ए मोहब्बत क्या होगा, इश्क दरिया है आंसूओं को उतर जाने दो। मत उदास हो के तेरा भी सवेरा आएगा, बुरा बक्त है,हंसकर इसे गुजर जाने दो। कल तक जो ये […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।