देकर आँख में पानी,
ये दुनियाँ मुस्कुराती है।
तड़पता देख हमको ये,
सदा ताली बजाती है।।
लगे जब चोट कोई गहरी,
दर्द हो दिल का कोई प्रहरी।
मदद की भीख मांगे जो,
हमें ठेंगा दिखाती है।
देकर आँख में पानी……
भरोसा टूटता है जब,
कोई घर लूटता है जब।
ये दुनियाँ देख कर सब कुछ,
तरस ना हम पे खाती है।
देकर आँख में पानी……
जब तिल तिल कोई मरता है,
धीर मुश्किल से धरता है।
ये दुनियाँ आहें सुन करके,
रहम हम पर ना खाती है।
देकर आँख में पानी……
भंवर में डूबे जब नैया,
लें अन्तिम सांस हम भैया।
ये दुनियाँ तब जहाँ में गीत,
हमारे गुनगुनाती है।
देकर आँख में पानी……
स्वरचित
सपना (सo अo)
प्राoविo-उजीतीपुर
विoखo-भाग्यनगर
जनपद-औरैया