दिल में कुछ,दबा-सा है,
कुछ अटखेलियाँ,कुछ नादानियाँ..
गुज़री बातों की कुछ निशानियाँ,
वक्त जैसे कुछ,रुका-सा है..
दिल में कुछ,दबा-सा है…।
कुछ ख़्वाहिशें,कुछ आशाएँ,
कुछ हैरानियाँ,कुछ परेशानियां..
कोई शूल जैसे,चुभा-सा है,
दिल में कुछ,दबा-सा है…।
कुछ सपने,कुछ उम्मीदें,
कुछ अलसाई-सी वो नींदें..
मन में कुछ,छुपा-सा है,
दिल में कुछ,दबा-सा है…।
कुछ उमंगें,कुछ नुमाइशें,
छोटी-सी वो फरमाइशें..
सपनों में वो कहीं,बसा-सा है,
दिल में कुछ,दबा-सा है…।
#प्रीती दुबे
परिचय : मध्य प्रदेश में ही निवासरत प्रीति दुबे प्रधानमंत्री सड़क योजना छिंदवाड़ा में उपयंत्री के पद पर कार्यरत हैं।आपने कुछ समय पहले ही शौकिया तौर पर लिखना शुरू किया है। आपकी रचनाओं का खास तत्व स्त्री और प्रेम है।