ये जमीं चूम लो,आसमां चूम लो,
वक्त मिल जाए तो माँ के चरण चूम लो।
कोई दुनिया में माँ का सानी नहीं,
हो कभी कोई माँ को परेशानी नहीं।
माँ के आंचल में दुनिया की शान्ति है,
माँ के आंचल में छिप जी भर झूम लो..
ये जमीं……।
माँ बिना कोई बनती कहानी नहीं,
माँ कभी होती है अभिमानी नहीं।
तकदीर बना देगी माँ की दुआ,
उस दुआ से तुम सारा जग घूम लो..
ये जमीं ……..।
माँ की दुआ जिन्दगी दे बदल,
माँ की दुआ से हो जाओगे सफ़ल।
माँ के सान्निध्य में सुख सारे हैं,
माँ के कदमों की धूल को चूम लो..
ये जमीं चूम….. ।
#अमित कैथवार
परिचय : शौकिया लेखक अमित कैथवार उत्तर प्रदेश के जिला लखीमपुर (खीरी )में मितौली ग्राम में रहते हैं।