मछली सी हो गयी बेटियां

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jaswant
*मंदसोर की बच्ची से दुष्कर्म करने वाले बलात्कारी पर मौन नेता अभिनेता मिडिया एवं तमाम बुद्घिजीवीयों को धिक्कारती मेरी रचना*
सुन इंसान , तुझे क्या हो गया ,
इंसान से , क्यों हैवान हो गया ।
बच्चियों को सरेआम नोच रहा ,
कहाँ पर तेरा जमीर खो गया ।।
इंसान तुझे तरक्की मुबारक ,
औरतो से तू बच्चियों पर आ गया ।
बाप अब कैसे पाले बेटिया ,
वहसी दरिंदो का जमाना आ गया ।।
मछली सी , जिंदगी हो गयी बेटियो की ,
हाथ लगाओ तो डर जायेगी ।
कैसे जाए स्कूल , कैसे जाए कॉलेज ,
बाहर निकालो तो मर जाएगी ।।
हर रोज रिश्ते शर्मसार हो रहे ,
छोटी बच्चियों को खुलेआम नोच रहे ।
कोई मामा ,कोई चाचा , कोई है रिश्ते में भाई ,
हवस के पुजारी , रिश्तों पर चाकू घोंप रहे ।।
जब तक कानून नही होगा फांसी का ,
रोज एक आसिफा, निर्भया ,दिव्या मरेगी ।
मोमबत्ती जलाने से कुछ नहीं होगा ,
फांसी दो सालों को , तभी बच्चियां तरेगी ।।
जब किसी मंत्री की बेटी नोची जाएगी ,
तब जाके इनको नानी याद आएगी ।
राजनीति का भूत इनका खड़े-खड़े उतरेगा ,
तब जाके इनकी अक्कल ठिकाने आएगी ।।
मासूमों के होते रोज देख बलात्कार ,
शहर की वेश्या ने कह दी बड़ी बात  ।
बिना पैसे के आ जाओ वहसी दरिंदो  ,
पर मत नोचों इन मासूमो के जज्बात  ।।
लाखों बच्चिया रोज हो रही  शिकार ,
इनकी चीख नही सुन पा रही सरकार  ।
“जसवंत” कहे फाँसी दो सालों को ,
नाबालिग , बालिग , जो भी करे बलात्कार ।।

नाम – जसवंत लाल बोलीवाल ( खटीक )

पिताजी का नाम – श्री लालूराम जी खटीक ( व.अ.)

माता जी का नाम – श्रीमती मांगी देवी

धर्मपत्नी – पूजा कुमारी खटीक ( अध्यापिका )

शिक्षा – B.tech in Computer Science

व्यवसाय – मातेश्वरी किराणा स्टोर , रतना का गुड़ा

राजसमन्द ( राज .) 

matruadmin

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डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।