किताब 

1
0 0
Read Time1 Minute, 19 Second
aarti kumari
 खोलती हूँ रोज़
अपनी चाहत की किताब
और पढती हूँ
दिल के पन्नों  पे धड़कते
तुम्हारे नाम को ।
उन पन्नों में
कर रखे हैं रेखांकित मैंने
एहसास के उन कोमल शब्दों को
जिनके भावार्थ बहुत गहरे हैं ।
चिन्हित कर रखे हैं
उन तारीखों को भी
जिनमें क़ैद हैं कुछ
मुस्कुराते लजाते हसीं पल
मोड़ रखे हैं
कुछ उदासियों के
आपसी मनमुटाव के
पन्नों को भी मैंने
जिन्हें नहीं खोलना चाहती मैं
दुबारा भी कभी।
और हाँ
कहीं कहीं लगा रखे हैं
तुम्हारी यादों के बुकमार्क भी मैंने
जिन तक जब चाहूँ
पहुँच जाती हूँ मैं
अपनी खामोश बेबस तन्हाईयों में
और पा जाती हूँ तुम्हारा साथ।
हर दिन किसी न किसी बहाने
कुछ न कुछ पढ ही डालती हूँ तुम्हे मैं
और समझ लेना चाहती हूँ
तुम्हारे किरदार को
तुम्हारे विचारों को
तुमसे जुड़ी परिस्थितियों को
मजबूरियों को
ताकि लग न जाए उनमें
अविश्वास के दीमक
और नासमझी की धूल ।
                                       #डॉ आरती

matruadmin

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

One thought on “किताब 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Next Post

वह तो एक है

Wed Jun 13 , 2018
कोई मन्दिर के लिए लड रहा है कोई मस्जिद के लिए लड रहा है जो लड रहा है न पूजा कर रहा है जो लड रहा है न इबादत कर रहा है लड़ना ही है तो देश के लिए लडो लड़ना ही है तो भूख के लिए लडो कुरीतियो और […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।