दुनिया कहती है,के हाथ का मेल है पैसा,
बहुत कुछ है और कुछ नहीं है पैसा।
फिर भी दुनिया का हर शख्स बईमान बना देता है,
इतनी ताकत रखता है पैसा।
भूखे की तो बस पेट की जरुरत पूरी करता है,
धनवान को तो भगवान ही बना देता है पैसा।
कितने ही लाचार मर जाते हैं मुंसीपल अस्पतालों में,
और कहीं उतने में कुत्तों के शौक पूरे करता है पैसा।
सिक्कों की चमक मत पूछिए, खूबसूरत होती है,
गरीब बेटी को बेबस, रईस बेटी को इज्जतदार बनाता है पैसा।
अब तो ज्ञान के मंदिर में भी व्यापर चलता है डोनेशन का,
काबिल को चपरासी,मूरख को साहब बनाता है पैसा।
मंदिर,मस्जिद,गुरुद्वारों में करवा लीजिए गर है दौलत तो पंजीयन,
बड़ी आसानी से ईश्वर,खुदा,रब से मिलवा देता है पैसा।
फर्क यहाँ किसे पड़ता है बेटी का दूल्हा चोर है या लुटेरा,
काले कर्मो कर्मों को सफ़ेद ज़ामा पहना देता है पैसा।
ज़मी दो गज ही मिलनी है मौत के बाद तो सबको,
पर कभी मंदिर, तो कभी मस्जिद के नाम पर दंगे करवाता है पैसा।
बड़े-बड़े लेख लिखने वाले क्या समझें दर्द गरीबी के घावों का,
सिर्फ दो रोटी के लिए मजहब भी बदलवा देता है पैसा।
#हरप्रीत कौर
परिचय : मध्यप्रदेश के इंदौर में ही रहने वाली हरप्रीत कौर कॊ लेखन और समाजसेवा का बेहद शौक है।आपने स्नातकोत्तर की पढ़ाई समाजकार्य में ही की है। कई एनजीओ के साथ मैदानी काम भी किया है। आपकी उपलब्धि यही है कि,2015 में महिला दिवस पर इंदौर की 100 महिलाओं में इन्हें भी समाजकार्य हेतु सम्मानित किया गया है। आप वर्तमान में महिला हिंसा के विरुद्ध कार्यरत हैं तो,कौशल विकास कार्यकम तथा जनजागरूकता के कार्यों से भी जुड़ी हुई हैं।
very nice harpreet ji