हमारी मातृभूमि पर अनेक ज्ञानी संत हुए महान, वेद प्रवर्तक विवेकानंद जी की अद्वितीय पहचान। बाल्यावस्था से प्रभुदर्शन की पाली उर में आस, गुरु माने श्रीरामकृष्ण परमहंस को धारे विश्वास। गुरु की दी शिक्षा से ओजस्वी गुणों से युक्त हुए, विश्व कल्याण के लिए गुरु माँ से आशीर्वाद लिए। ठाना, […]
काव्यभाषा
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