गर चली जाए मेरी जान वतन पर,
तो इतना-सा काम करना..
दे देना मेरी चिता को मुखाग्नि,
न मेरे मातपिता को परेशान करना।
जानता हूँ रोएंगें वो बहुत,
इसीलिए तुम थोडा-सा उनका ध्यान करना..
गर न मानें फिर भी वो तो,
भगतसिंह-चंद्रशेखर की ख्याति का बखान करना।
बता देना उन्हें होती है,
हर माँ से बड़ी भारत माँ..
इसलिए जरुरी हो जाता हैं,
उसकी रक्षा के लिए जान कुर्बान करना।
किस्मत वाले होते हैं वो,
जिनको मिलता है ऐसा मौक़ा..
इसलिए माँ आप मुझ पर अभिमान करना,
रोते हुए ही सही,पर माँ-बेटों को भी सिखाना..
वतन पर हँसते हुए जान कुर्बान करना।
#एड. नवीन बिलैया
Very Nice mere chote bhai
awasome………..