चलिए कई दिनों बाद किसी मंत्री ने शिष्टाचार की बात कही है। सुनकर अच्छा लगा कि जनता के साथ-साथ नुमाइंदे भी व्यवस्था की व्यथा से ग्रसित है। तभी तो लगाम लगाने के लिए भ्रष्टाचार पर तंज कस रहे हैं। वह भी रिश्वत जैसी अमरबेली महामारी के हद दर्जे की आफत […]
महात्मा गाँधी के विचार लोकतंत्र के लिए एक रीड के समान थे | गांधीजी ने उस समय ये विचार पूरी शक्ति से अंग्रेजो के सामने रखे की भारत को लोकतंत्र के रूप में ही चलाया जा सकता है और किसी भी हुकूमत को भारत की जनता मानने को तैयार नहीं […]
भारत विभिन्नताओं में एक एकता के सूत्र से संचालित राष्ट्र है, जहाँ बोली, खानपान, संस्कृति, समाज एवं जातिगत व्यवस्थाओं का जो ताना-बाना बना हुआ है वह अनेकता में एकता के दर्शन करवाता हैं। ऐसे में हिंदी दिवस के दिन विज्ञान भवन से भारत के वर्तमान गृहमंत्री अमित शाह द्वारा एक […]
अहिन्दी भाषी एम वेंकैया नायडू बोले हिंदी में ब्रह्माकुमारीज के वैश्विक शिखर सम्मेलन में उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने कहा कि ब्रह्माकुमारीज जैसा कोई अन्य संगठन पूरी दुनिया नही है जो अध्यात्म, सुसंस्कारों के रास्ते सरकार की जन कल्याण योजनाओं को भी आगे बढ़ाने के लिए कृतसंकल्प हो ।उन्होंने कहा […]
अपने देश में दादा साहब फाल्के अवार्ड अभिनय के क्षेत्र में दिया जाने वाला सबसे बड़ा पुरस्कार है जिसे देश के सबसे बड़े अभिनेता को दिये जाने की खबर सुनकर हर किसी को एक सुखद अनुभूति हो रही है। चार दशक से भारतीय सिनेमा का अहम हिस्सा रहे अमिताभ बच्चन […]
अरे! क्या कहा नवरात्रि आ रही है तो क्या हुआ हमे क्या लेना -देना हम तो बस इंजॉय करेंगे। इतना इंजॉय करें की भगवान को ही भूल जाएंगे, वैसे भी क्या है ? यह सब संस्कार, संस्कृति ,आदर्श, सभ्यता क्या मतलब भाई इन सब से हमे ,हम तो बस इंजॉय […]
आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है।
आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं।
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया।
इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं।
हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।