साहस जुटाना पड़ता है…

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sandeep jain
इस जहान में,सब कुछ संभव होता है।
बस मन को,बेवकूफ बनाना पड़ता है॥
मन पल-पल में,विचलित हो अकड़ता है।
बस   थोड़ा   साहस,जुटाना पड़ता   है॥
ख्वाबों  के समंदर,नित बनाने होंगे।
भिन्न-भिन्न तरीके,अपनाने होंगे॥
लोगों के तानों का भी,पारा चढ़ता है।
बस थोड़ा साहस,जुटाना पड़ता है॥
लक्ष्य न भूले,तो हमें अर्जुन बनना होगा।
समय का सही,सद्पयोग करना होगा॥
ज़िंदगी के सफर में,बहुत कुछ मत्थे मढ़ता है।
बस थोड़ा साहस,जुटाना पड़ता है॥
बिन पैरों के भी,अब एवरेस्ट फतह हो गया है।
पहाड़ों  को काटकर,रास्ता भी तो बन गया है॥
कुछ करने के लिए,मन को बहलाना पड़ता है।
बस थोड़ा साहस,जुटाना पड़ता है॥
जात धर्म का,कोई खेल नहीं है।
अमीरी-गरीबी का भी,कोई फेर नहीं है॥
बिन गुरु,बिन सुविधा,एकलव्य ने लक्ष्य को पाया है।
द्रोणाचार्य के शिष्य को भी,धनुर्विद्या में हराया है॥
कभी-कभी रेत में से भी,तेल निकालना पड़ता है।
बस थोड़ा साहस,जुटाना पड़ता है।।
                                                                                             #संदीप जैन
परिचय : संदीप जैन को रचनाओं का सृजन करना पसंद है,इसलिए नित नया सीखते हुए लिखते हैं। आपका बसेरा छिन्दवाड़ा(मध्यप्रदेश) के छोटा तालाब क्षेत्र में है। नौकरी-वन विभाग(मध्यप्रदेश राज्य ) में है।

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डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।