दुनिया के खिलौने बच्चों हित,बच्चे हम सबके खिलौने हैं, उम्मीद उड़ानें अम्बर तक,दिखने में कितने बौने हैं। जिनकी किलकारी सुनने को,हम कान उटेरे रहते हैं, ईश्वर का अंश झलकता है,यह नीरज नयना कहते हैं। सागर-सा प्यार उमड़ता है,बेऔलादों के भी उर में, सब सुख-सुविधा झूठी लगती हैं,बिन औलादों के घर […]
avasthi
याद बहुत आते हैं हमको बालपन के दिन, खड़िया-बोदका,पाटी-बस्ता,पेंसिल वाले दिन। गाय-भैंस का मट्ठा-मक्खन,मावा वाले दिन, खीरा-ककरी,बिही,मकाई की टोररी वाले दिन… याद बहुत आते हैं हमको बालपन के दिन।। खड़िया-बोदका,पाटी-बस्ता,पेंसिल वाले दिन, खिचरी-छुआ-छुउव्वर्,आइस-पाइस वाले दिन, लापची-डंडा,आटा पिल्लो खो-खो वाले दिन.. याद बहुत आते हैं हमको बालापन के दिन.. खड़िया-बोदका,पाटी-बस्ता, पेंसिल […]