क्या कहूँ, क्या न कहूँ, झूठा है हर शान, देश मे हिंदू मुस्लिम की जंग, और कहता भारत महान, देश मे लोग लोगो के दुश्मन, फिर भी देश महान, धर्म के नाम पर करते दंगे, अल्लाह राम में करते पंगे, ये है हमारा हिंदुस्तान। बिक चुके है लोग, बिक चुकी […]

आरव बड़ा अफसर था।  उसके अधीन कई कर्मचारी कार्यरत थे। एक बार उसे ऊपर से आदेश मिला कि इस वर्ष अच्छा प्रदर्शन करने वाले 10 कर्मचारियों की सूची बनाएँ , जिन्हें सम्मानित किया जायगा । आरव ने उसके कार्यालय में हमेशा दिखने वाले वैसे लोगों को चयन समिति का सदस्य […]

शिखर शुरू से ही बहुत ही प्रतिभाशाली था l वह बचपन में  गाँव के ही स्कूल में पढ़ता था l उसके शिक्षक उसके कार्यों से सदैव प्रसन्न रहते थे l जब उसने मैट्रिक की परीक्षा दी तब उसके परीक्षा परिणाम से सब अवाक थे कि जिस बच्चे को नब्बे प्रतिशत […]

दीनदयाल ने अपने दोनों बेटे और एक बेटी की पढ़ाई में अपनी पूरी पूँजी झोंक दी, ताकि जो कष्ट उसने उठाया उसके बच्चों को न उठाना पड़े l जब बेटी मात्र दो वर्ष की थी तब उसकी पत्नी का देहांत हो गया था l तब से अब तक वह केवल […]

ये है एक ऐसी दुनिया , जहाँ बुझाई जाती है बेटीयाँ , कमजोर समझी जाती है बेटीयाँ, सताई जाती है बेटीयाँ , रात अकेले नही चल सकती बेटीयाँ , और कहते है , भारत की शान है बेटीयाँ !! हर दिन एक रूह खोती है , हर दिन एक हँसी […]

नाजों से पली मिनी को शादी से पहले इस बात की भनक तक न थी कि शादी के बाद उसे प्रतदिन रोना पड़ेगा l संयुक्त परिवार की  बेटी मिनी के आँखों में आँसू देख उसके बड़े ताऊ आसमान सिर पर उठा लेते थे l इसलिए परिवार के सभी बच्चे मिनी […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।