भारत में कोविड-19 की रोकथाम के समस्त उपायों के बावजूद आंकड़ों में रिकॉर्ड वृद्धि होना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। चूंकि भारत के लोकतांत्रिक लोकप्रिय माननीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र दामोदर दास मोदी जी ने लाॅकडाउन-1 से लेकर लाॅकडाउन-4 तक कुशलतापूर्वक लगाए। परंतु विपक्षी नकारात्मक भूमिका के कारण वह सफलता प्राप्त नहीं हुई। जिसकी कामना उन्होंने ने सम्पूर्ण लाॅकडाउन-1 लगाते समय की थी। जिसकी प्रशंसा विश्वस्तर पर भी हुई थी।
चूंकि समाचार प्रकाशन/प्रसारण में बताया जा रहा है कि भारत में कोविड-19 के रोगियों की संख्या 144069 के पार चली गई है। जिनमें से 58727 से अधिक रोगी कोविड-19 को मात देकर स्वस्थ हुए और 4117 से अधिक रोगी कोविड-19 के युद्ध में वीरगति को प्राप्त हो चुके हैं।
इसके बावजूद युद्ध कोविड-19 विकराल रूप धारण कर रहा है। जिसके फलस्वरूप दिन प्रतिदिन रोग संक्रमण संख्या में वृद्धि हो रही है। जो पीड़ादायक है।
स्पष्ट शब्दों का प्रयोग करें तो मोदी जी के कुशल नेतृत्व वाली भारत सरकार के समस्त प्रयासों को कुचलते हुए कोविड-19 के नये मामलों में कमी नहीं आ रही है।
इसलिए कोविड-19 पर विजय प्राप्त करने हेतु सर्वप्रथम प्रशासनिक भ्रष्टाचार को रोकते हुए सचिव स्तर के उच्च अधिकारियों, विषाणु विशेषज्ञों, जीव एवं विषाणु शोधकर्ताओं की कुशलता को अधिक से अधिक पारदर्शी बढ़ावा देने की अत्यंत आवश्यकता है।