गोंदिया। कविता लिखी नहीं जाती समय, परिस्थिति व वातावरण कवि मन को प्रेरित करता है और कलम कविमन के भावों को शब्दों के प्रवाह मेंं ढाल देती है जो कविता हो जाती है। कलरव कवि दम्पति शशि तिवारी व श्रीमती कमलेश तिवारी की कविताओं का ऐसा ही एक गुंजन है, […]
लोगों का क्या है समझते कम हैं बिना जरुरत समझाते ज्यादा हैं समय पर काम आने से कतराते हैं सलाह मुफ़्त है बिन मांगे दे जाते हैं सुनते रहो ऊल जलूल तो ठीक कुछ कहो तो बुरा मान जाते हैं दूसरे के कष्ट में आता है मजा भला चाहने का ढोंग कर जाते हैं कोशिश करता हैं कोई सुलझाने की बेवजह आकर चीजें उलझाते हैं लोगों का क्या है….. #डॉ रूपेश जैन ‘राहत’ Post Views: 35
