कैसे बचाओगे बेटियो को तुम

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शिक्षा के मन्दिर मे , बलात्कार करते हो तुम,
गुरु के पवित्र नाम पर , कलंककित होते हो तुम,

हे भारत के ज्ञान दाता , ज्ञान के मन्दिर को ,
बेटियों की इज्जतो से खेलते हो तुम ,

गुरु के नाम को बदनाम के रंग से रगते हो तुम,
लड़कियो के शरीर को खिलौना समझ खेलते हो तुम,

तुम इंसानो को कोई ना समझे ,
हैवान हो इस मानवरूपी धरती पे तुम ,

नाम गुरु का ज्ञान दाता कहते है तुम्हें ,
तुम इज्जत से खिलवाड़ने वाले नरभक्षी हो तुम ,

कौन तुम्हारी आँखों पे विश्वाश करेगा ,
शिक्षक के पवित्र रिश्ते को बदनाम करते हो तुम ,

भारत के सविधान पे घिन आती है मुझें ,
ऐसे कमजोर कानून बना दिये हो तुम ,

ना सुरक्षित है यहाँ लड़कियाँ, बहन हमारी ,
कैसे तुम नरभक्षीयो मिटोगे तुम ,

भारत माँ के नन्ही सी बेटियो को कबतक दबोचोगे तुम ,
तुम भी अपनी माँ बेटियों की भी वैसी ही जिन्दगी देखोगे तुम !

काश तुम मर्द नही नामर्द होते ,
खुद उसी नर्क जिन्दगी से मरते तुम !

रूपेश कुमार
छात्र एव युवा साहित्यकार
शिक्षा – स्नाकोतर भौतिकी , इसाई धर्म(डीपलोमा) , ए.डी.सी.ए (कम्युटर)
बी.एड( महात्मा ज्योतिबा फुले रोहिलखंड यूनिवर्सिटी बरेली यूपी)
वर्तमान-प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी !
प्रकाशित पुस्तक ~ मेरी कलम रो रही है
विभिन्न राष्ट्रिय पत्र पत्रिकाओ मे कविता,कहानी,गजल प्रकाशित !
कुछ सहित्यिक संस्थान से सम्मान प्राप्त !
चैनपुर,सीवान बिहार – 841203

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मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।