दर्पण 

0 0
Read Time1 Minute, 22 Second
alok tripathi
मन दर्पण को स्वच्छ बना लू जीवन की शंध्या से पहले।
परम पिता को मै अपना लू जीवन की शंध्या से पहले।।
आपा धापी दौड धूप चलती रहती है।
आशा तृष्णा सदा हृदय कलुषित करती है।।
सुबह शाम शंध्या रात्री के प्रहर बीतते
संकल्पों मे ब्यथित सदा  होकर हम रहते।
 हरि सुमिरन के गीत सुना लू जीवन की शंध्या से पहले ।।
परम पिता ,,,,,,,
अंतरज्वाला धधक रही है इसे बुझा दू।
बहती हुइ नाडियों मे भक्ती की राग बहा दू।।
प्रेम और करूणा से भर लू हृदय पटल को।
जन्मों से संचित पापों को आज मिटा दू।।
मन मंदिर को मै महका दू जीवन की शंध्या से पहले।।
परम पिता ,,,,,,,,,,,
निर्भयता की सीढीमै चढता जाऊ मै ।
दृढता से जीवन पथ पर मै चलता जाऊ ।।
आत्मोन्नति पर सतत बढू उत्साहित होकर ।
सभी विकारों के चंगुल से छुटता जाऊ ।।
सत्चरित्र को हार बना लू जीवन की शंध्या से पहले ।।
परम पिता ,,,,,,,
#आलोक त्रिपाठी 
शास्त्री साहित्याचार्य
एम ए हिन्दी लिट्रेचर
इंदौर ,मध्यप्रदेश

matruadmin

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Next Post

हे माँ धरती पर प्रचंड रूप धर आ जाओ।

Fri Apr 5 , 2019
हो रहा अत्याचार मासूमों पर माँ, बिलख रही किलकारी है माँ। ले कर के खड्ग और त्रिशूल माँ, दुष्टों के शीश भेट चढ़ा जाओ। हे माँ प्रचंड रूप धर आ जाओ।। तब कोख में मरती थी कन्या अब तो जन्म के बाद उजड़ती है । पैदा करने वाला बन गया […]

नया नया

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।