मृत्यु का अर्थ स्वर्ग नही फिर क्यों स्वर्गीय कहते हो पाप किये जिसने बहुत उसे नर्क में नही बताते हो स्वर्ग जाएगा या नर्क में कर्म निर्धारण करते है परमात्मा तटस्थ है भाई भेदभाव नही वह करते है अगर चाहिए स्वर्गलोक सद्कर्म पथ पर चले चलो हर लोक संवर जाएगा […]