करता हूं बात तुमसे पूरी दुनिया जहान की।
तुम तो परी हो,मेरे दिल के आसमान की।।
फ़ुरसत में होगा भगवान,जब तुमको बनाया होगा।
करनी पड़ेगी तारीफ,अब उस भगवान की।।
आईं हो तुम मुझेसे मिलने कोरोना काल में।
मुझे फ़िक्र बहुत थी,तुम्हारी सुंदर जान की।।
हर तरह का भरोसा है तुम्हारे प्यार पर मुझको
क्या जरूरत है, मुझे अब तुम्हारे इम्तिहान की।।
मिल जाएंगे घर इसी जमीं पर तुमको।
क्या जरूरत है तुम्हे आसमान में उड़ान की।।
रस्तोगी को न रहा भरोसा अब इस जहान में।
बचकर रहना हैवानियत से किसी हैवान की।।
आर के रस्तोगी
गुरुग्राम