आगर मालवा के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय आगर के व्याख्याता डॉ दशरथ मसानिया साहित्य के क्षेत्र में अनेक उपलब्धियां दर्ज हैं। 20 से अधिक पुस्तके, 50 से अधिक नवाचार है। इन्हीं उपलब्धियों के आधार पर उन्हें मध्यप्रदेश शासन तथा देश के कई राज्यों ने पुरस्कृत भी किया है। डॉं मसानिया […]

.             …… जल ने आबाद किया,सुने है कहानी। जीवन  विधाता बंधु , रीत रहा पानी। पानी  बर्बाद  किया, भावि नहीं देखे। पीढ़ी आज कह रही, कौन देय लेखे। खोज रहा  नीर धीर, मान मानवो में। खो गया है  जो आज,राम दानवों में। सूख रहे  झील  ताल ,नदी बाव सारे। युद्ध  […]

*राधा से कान्हा कहे, अब होली  के बाद।* *अब भी अपने देश में, होली  है  आबाद।* *होली  है आबाद, रिवाजें     बहके बदले।* *प्रीत नेह व्यवहार,लगे मन मानस  गदले।* *शर्मा  बाबू लाल, गऊ क्यों लगती बाधा।* *तरु कदम्ब की छाँव,कहे मुस्काती राधा।* .                      *२*  *राधा मुस्काती कहे, सुन  लो गोपी नाथ।* *कहाँ […]

गुलाबी  रंग   फूलों  में। सजा  है  संग  शूलो में। सजे ये ओस  के मोती। धरा अहसास के बोती। कहें ऋतु फाग होली की। हवाएँ   गीत   बोली  की। दहकना  है  पलाशों  का। गया  मौसम  हताशों का। प्रकृति  सौगात  देती हैं। धरा   उपहार   लेती  है। तभी तो  रीति होली हो। सही मन […]

दोहा- मेघपुष्प  पानी  सलिल, आपः  पाथः तोय। लिखूँ वन्दना वरुण की,निर्मल मति दे मोय।। चौपाई- प्रथम   गणेश   शारदे  वंदन। वरुण देव,पाठक अभिनंदन।।१ जल से जीवन यह जग जाना। जल मे  प्राणवायु  को   माना।।२ जल से जीव और  परजीवी। जल से वसुधा  बनी सजीवी।।३ जल से अन्न  अन्न से जीवन। जल […]

रंग सजे  सीमा  पर सारे। शंख  बजाए कष्ट निवारे। संकट आतंकी  बन  बैठे। कान  उन्हीं के वीर उमेंठे। राष्ट्र सनेही  भंग  चढ़ालो। शत्रु समूहों को मथ डालो। ओढ़ तिरंगा ले बन शोला। केशरिया होली तन चोला। याद  करे  संसार  रुहानी। खेल सखे होली  मरदानी। चेत सके आतंक न प्यादे। चंग  […]

नया नया

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।