जीत की ही राह चली न हारती रही शान है वो हिन्द की भारती रहीं शक्ति के रूप में देखा है सभी ने मुश्किलों में दिन भी वो गुजारती रहीं माँ का वो बहन का वो भगवान रूप है होती रहीं पूजा कभी ,आरती रहीं बच्चों को पढ़ाया और सम्मान […]
देश के देखो ऐसे अब हालात है अच्छे दिन सिर्फ कहने की बात है अफसर बिक गए,बिक रहे नेता भी हो रही सब तरफ मुक्का लात है मौसम पर भी अब भरोषा नहीं हो रही देखो बेमौसम ये बरसात है सो गया देख लो और ज़मीर मर गया आदमी की […]
वो पीपल बहुत ही छाँव देता है सुकून मुझको मेरा गाँव देता है चला आया आज शहर से दूर बच्चा हो या बूढ़ा लगाव देता है लगा लेते गले से किस्से सुनाते है नहीं कोई भी यहां घाव देता है नदी का किनारा वो खूबसूरत पल कोई नहीं यहां टकराव […]
चाटूकार नहीं हम कलमकार हैं कलम के प्रति हम वफ़ादार हैं सच लिखने का हमने जज्बा रखा कवि शायर ही नहीं जिम्म्मेदार हैं दिखावा जरा भी फितरत में नहीं लिखेंगे वही जो भी असरदार है जरूरी तो नहीं मंच पर ही मिलेंगे जज़्बात पढ़ लो खुला अखबार है खोल कर […]
ज़माना मुझे आजमाता गया मगर मैं हमेशा मुस्कुराता गया मुझे जो समझ लें वो मिलते नहीं ग़मों को अकेला उठाता गया सभी दोस्त मेरे ,न दुश्मन कोई मिला जो गले से लगाता गया लबों पर हँसी की अदाएँ रखे, ग़ज़ल मैं नई गुनगुनाता गया ज़रा मस्तियाँ देख अंदाज में ज़माने […]
शह कभी मात पर लिखो यारों मुद्दे की बात पर लिखो यारों कैसे कटते हैं गरीबों के दिन कैसे कटती,रात पर लिखो यारों तूफान कहीं , कहीं पर सूखा है कुछ तो बरसात पर लिखो यारों चोर उचक्कों का क्यों जमघट हैं बदले ख़यालात पर लिखो यारों रोटी के टुकड़ों […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।