मैं लिख डालूं अपनी भावनाओं को शब्दों में कागज के सफेद टुकड़े पर तुम बन जाना अर्थ उन शब्दों की गूढता के सुन लेना हमारी सारी वेदनाओ के मर्म को रख लेना अपने अंतर्मन में मन को मन से छू लेना हमारे सारे मौन से संवादों को…. #स्मिता जैन Post […]

बूंद-बूंद पानी का प्रवाह देता है एक धारा को पतली -पतली सी धाराएं गति देती हैं एक नदी को बलखाती ,इठलाती अठखेलियां करती चलती है अपनी ही यौवन की मस्ती में जीवन को पोषित करती है बाधाओं को अपने प्रचंड प्रवाह से लांघती पार करती हैं अनंत ऊंचाइयों, गहराइयों को […]

‌” नारी तुम केवल श्रद्धा हो ‌विश्वास रजत नभ पग तल में ‌पीयूष स्रोत सी बहा करो ‌जीवन के सुंदर समतल में “ ‌ जयशंकर प्रसाद जी ‌हे नारी ! तुम क्या हो आज तक यह कोई नहीं समझ पाया है। तुम तो माता हो, बहन हो, पत्नी हो, मातृभूमि […]

कण-कण जोड़ के यह देह बनी तिनका तिनका जोड़ के यह आशियाना कुछ पल, महीना, बरस साथ रहे फिर आई विदाई की बेला जिसका ना कोई आदि, ना कोई अंत । वह छोटी छोटी सी बातें वह खेलना, वह लड़ना मेरा एक खिलौना चला गया अपनी योग्यता को निखारने छोड़ […]

बूंद-बूंद पानी का प्रवाह देता है एक धारा को पतली -पतली सी धाराएं गति देती हैं एक नदी को बलखाती ,इठलाती अठखेलियां करती चलती है अपनी ही यौवन की मस्ती में जीवन को पोषित करती है बाधाओं को अपने प्रचंड प्रवाह से लांघती पार करती हैं अनंत ऊंचाइयों, गहराइयों को […]

सांसों का कोई नाम ना था इश्क ने तेरा नाम हर साँस में गूंथ दिया टूट से गये कई शिकवे- शिकायते मिट से गये सारे फासले शिशिर बन करके जो आए उपवन में मेरे छा गई बहारें अलसाये से उपवन में महक से गए सारे रास्ते तितलियों का फूलों पर […]

नया नया

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।