नन्हे मित्र

0 0
Read Time1 Minute, 39 Second

ये प्यारे प्यारे नन्हे मुन्ने,
बरबस मन मोह लेते हैं।
मधुर मधुर मुस्कान लिए,
जब पास हमारे होते हैं।

थोड़े चुलबुले,थोड़े नटखट,
होते हैं प्यारे बच्चे।
स्वार्थ ना कोई होता दिल में,
होते हैं मन के सच्चे।

देख इन्हें फिर हमको भी ,
बचपन याद आता है।
कुछ पल लिए दिल अपना भी,
बच्चा बन जाता है।

छल, कपट और दिखावा,
इनको तनिक ना आता है।
खेल खिलौने,यारों संग मस्ती,
इनको यही बस आता है।

किया अचम्भित आज मुझे,
इन प्यारे से बच्चों ने।
सुबह सुबह आ पहुँचे घर में,
लेकर गुलाल हाथों में।

मीठी सी मुस्कान लिए फिर,
मुझसे बोले ये बच्चे।
संग आपके होली खेलने,
आए हैं हम बच्चे।

सुनकर ये फ़रमाइश प्यारी,
मन मेरा भी डोला।
छोड़ा काम किचन का सारा,
और दुनियाँदारी को छोड़ा।

मैं बैठ गई फिर बच्चों की,
प्यारी टोली के बीच।
सबने गुलाल लगाकर मेरा,
दिल भी लिया फिर जीत।

रहो सदा खुशहाल यूँ ही,
मेरे प्यारे नन्हे मित्र।
यूँ ही फैलाते रहना जग में,
निश्छलता का इत्र।

हो जाएं सपने पूरे तुम्हारे,
है यही दुआ मेरी।
करती हूँ कामना ईश्वर से,
तुम्हें लग जाए उम्र मेरी।

स्वरचित
सपना (स. अ.)
जनपद-औरैया

matruadmin

Next Post

श्रवाक दर्शन से धन्य हुये

Tue Mar 30 , 2021
जब मिले गुरुके दर्शन जब मिले प्रभुके दर्शन। देखकर गुरु प्रभु को हो जाता श्रावक धन्य ।। २ ज़िंदगी की दास्तां, चाहे कितनी हो हंसीं बिन गुरुके कुछ नहीं, बिन प्रभुके कुछ नहीं।। क्या मज़ा आता मुनिवर, आज भूले से कहीं गुरुवर भी आजाते यहाँ, मुनि संघ के सहित देखकर […]

नया नया

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।