पाकर जो लोग मैल सी धन संपदा भर जाते हैं अहम से इतराते और बल खाते हैं छुद्र नदी सा रह भी जाते हैं फिर, सिमट कर खुद से खुद तक । आता है जब बुरा वक्त हो जाती है अक्सर धन संपदा भी बेमानी तब जो खड़े होते हैं […]
मेरी तो खुशी का ठिकाना ही नहीं रहा, जब मेंने उसको फिर से देखा तो! मैं एक बार पहले भी उससे मिल चुका था और अब उसे दूसरी बार देख रहा था ! हम बस में साथ-साथ बैठकर गाँव गए थे ! बस में ही हमारी पहली मुलाकात हुई और […]
माँ से बच्चे का रिश्ता रूहानी होता है कैसे आँचल में खिलखिलाता है प्यार की थपकी पहचान लेता है लोरी सुन चैन से सो जाता है पहली गुरू बन माँ सिखाती है उसे जीवन का ककहरा बताती है क्या है खोटा और क्या […]
वह दो साल से पैंतीस हजार का कर्ज लेने के लिए बैंक के रोज चक्कर काट रहा था। उस गरीब का सपना बस एक परचून की दुकान थी,पर बैंक वाले रोज कोई न कोई कहानी सुनाकर उसे टरका देते। एक दिन किसी ने उसे एक तरकीब सुझाई। अगले दिन वह […]
जन्म दे सवारती सु मातु प्यार से दुलार, मात के ममत्व को कभी नहीं विसारिये| आन वान शान मान प्राण को करें निसार, मात के महत्व को सदा हिये विचारिये|| धर्म मर्म धीर पीर प्रेम प्यार स्नेह नीर, […]
जीवन एक उपहार है ईश्वर का चमत्कार है हर एक पल इसका अनमोल सीमित सांसो का यह झोल व्यर्थ समय यूँ न गंवाओ जीवन को सफल बनाओ पहले आभार करो ईश्वर का फिर सत्कार करो जीवन का विकार जरा भी लगने न पाये संस्कारो मे आगे आ जाये आत्मस्वरूप मे […]
आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है।
आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं।
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया।
इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं।
हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।