हिन्दी गौरव अलंकरण से अलंकृत हुए डॉ. भगवती लाल राजपुरोहित एवं प्रो. संजय द्विवेदी

1 0
Read Time3 Minute, 40 Second

मातृभाषा को शिक्षा और व्यवहार में लाएं- श्री कोकजे

मातृभाषा उन्नयन संस्थान का प्रतिष्ठा प्रसंग समारोह सम्पन्न

इन्दौर। मातृभाषा उन्नयन संस्थान द्वारा रविवार दोपहर आयोजित समारोह में वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. भगवती लाल राजपुरोहित और भारतीय जनसंचार संस्थान के महानिदेशक प्रो. संजय द्विवेदी को हिन्दी गौरव अलंकरण से अलंकृत किया गया।
इन्दौर प्रेस क्लब के राजेन्द्र माथुर सभागृह में आयोजित समारोह के मुख्य अतिथि हिमाचल प्रदेश के पूर्व राज्यपाल न्यायमूर्ति विष्णु सदाशिव कोकजे थे। उन्होंने कहा कि ‘मातृभाषाओं का व्यवहार एवं शिक्षा में अधिक से अधिक प्रयोग किया जाना चाहिए। हम ज़्यादा से ज़्यादा भाषाएँ सीखें किन्तु मातृभाषा का अनादर न होने दें।’

इस समारोह को सांसद शंकर लालवानी, प्रेस क्लब अध्यक्ष अरविंद तिवारी, मुस्कान भारतीय और सम्मानित अतिथि डॉ. राजपुरोहित एवं प्रो. द्विवेदी ने भी संबोधित किया।

इस मौके पर नोएडा से कवयित्री पल्लवी त्रिपाठी, तेलंगाना से श्रीमन्नारायण चारी विराट, इंदौर से राकेश दांगी, छिन्दवाड़ा से भुवन सिंह धांसू एवं भोपाल से डॉ. अंशुल आराध्यम को काव्य गौरव अलंकरण प्रदान किया गया।
स्वागत उद्बोधन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ ने दिया, सम्मान पत्र का वाचन शिक्षाविद डॉ संगीता भारूका सिंघानिया व श्रुति अग्रवाल ने किया। अतिथियों को प्रतीक चिन्ह शिखा जैन, नीना जोशी, नितेश गुप्ता, ऋतु गुप्ता, रवीना व्यास, जय सिंह रघुवंशी व मुकेश तिवारी ने दिए। कार्यक्रम का संचालन कवि अंशुल व्यास ने किया और अंत में आभार अमित मौलिक ने माना।

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ. नीना जोशी, राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष शिखा जैन, राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य नितेश गुप्ता सहित मध्यप्रदेश अध्यक्ष अमित मौलिक, कार्यकारणी सदस्य जलज व्यास, मयंक व्यास, सूर्यकान्त नागर, डॉ. योगेन्द्र नाथ शुक्ल, अश्विन खरे, प्रदीप जोशी, डॉ गरिमा संजय दुबे, संजय त्रिपाठी, गिरेन्द्र सिंह भदौरिया प्राण, रामचंद्र अवस्थी, सुषमा दुबे, इन्दु पराशर, माला सिंह ठाकुर, गौरव साक्षी, मणिमाला शर्मा, सोनाली सिंह नरगुंदे, राममूरत राही, शैलेन्द्र गुप्ता, नीलम तोलानी आदि उपस्थित रहे।

matruadmin

Next Post

श्री मध्यभारत हिन्दी साहित्य समिति के प्रधानमंत्री प्रो सूर्यप्रकाश चतुर्वेदी नहीं रहे, अंतिम संस्कार गुरुवार को

Wed Feb 22 , 2023
इन्दौर। श्री मध्यभारत हिंदी साहित्य समिति के प्रधानमंत्री एवं वरिष्ठ प्राध्यापक श्री सूर्यप्रकाश चतुर्वेदी का बुधवार शाम निधन हो गया है। प्रो. चतुर्वेदी वरिष्ठ शिक्षाविद होने के साथ ही क्रिकेट समीक्षक थे, क्रिकेट को लेकर उनकी कई पुस्तकें प्रकाशित हुई। हाल ही में उन्हें साहित्य अकादमी का अखिल भारतीय पुरस्कार […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।