विराट व्यक्तित्व के धनी रहे अटल जी- श्री सत्तन
इन्दौर। श्री मध्यभारत हिन्दी साहित्य समिति, इन्दौर ने कालजयी साहित्यकार स्मरण श्रृंखला का 92वाॅं पुष्प भारत के 10वें प्रधानमंत्री, कवि ह्रदय अटलबिहारी वाजपेयी को समर्पित किया। उनकी जन्मशती की पूर्व संध्या पर समिति में आयोजित स्मरण आयोजन की अध्यक्षता करते हुए कविवर, समिति के सभापति सत्यनारायण सत्तन ने कहा- ’अटलजी के व्यक्तित्व को शब्दों में व्यक्त करना बहुत कठिन है। उनके जैसा प्रधानमंत्री भारत के विकास के सपनों को सॅंजोने वाला और राष्ट्र को समर्पित होकर जीने वाला दूसरा कोई नहीं हुआ।’ श्री सत्तनजी ने, जिन्हें अटलजी से मिलने के कई बार सौभाग्य प्राप्त हुए, राजनीति के क्षेत्र में और कविता के मंच पर दोनों के कई संस्मरण सुनाये और कहा कि वो भारत माॅं का नाम पुजाने वाले थे अटल जी विस्फोटो के बीच मुस्कराने वाले थे अटल जी। उन्होंने श्यामाप्रसाद मुखर्जी, दीनदयाल उपाध्याय और अटलबिहारी वाजपेयी इस त्रयी को राष्ट्रवादी चिंतक बताया।
’देवपुत्र’ के सम्पादक, समिति के उपसभापति श्री कृष्णकुमार अष्ठाना ने अटलजी के संदर्भ में कई प्रसंग सुनाये, जिसमें परमाणु परीक्षण के अलावा उनकी सहजता और सरलता पर भी विचार व्यक्त किये। इस अवसर पर कई साहित्यकारों ने अटलजी की रचनाओं का सस्वर पाठ किया तो कुछ ने अटलजी पर बनाई हुई अपनी रचनायें सुनाईं। प्रचारमंत्री हरेराम वाजपेयी ने अटलजी की जीवनी, उनका जीवन दर्शन संक्षिप्त में बताया तथा पत्रकार आलोक वाजपेयी द्वारा लिया गया साक्षात्कार के समय का चित्र भी सभी को दिखाया।
रचना पाठ करने वालों में अर्थमंत्री राजेश शर्मा, डॉ. अर्पण जैन, डाॅ. आरती दुबे, अरविन्द जोशी, भरत उपाध्याय, डाॅ. अरुणा सराफ, मनीष दवे, प्रदीप नवीन, राधिका इंगले, रामचन्द्र अवस्थी, गिरेन्द्रसिंह भदौरिया, दिनेश दवे, डाॅ. अखिलेश राव, माधवी ताई, चन्द्रपाल शिरोमणि, कु. महिमा त्रिवेदी, बबीता चौहान, यश बंसोड़े, देवीलाल गुर्जर, विकास यादव आदि ने रचना पाठ किया। इस अवसर पर नयन राठी, अमर सिंह मानावत, एल.एन. उग्र, प्रकाश जैन, महेश चन्द्र शास्त्री, अनिल भोजे, अनिल फुसकेले, विजय खंडेलवाल, श्याम सिंह, नागेश व्यास, जितेन्द्र मानव, रमेश झॅंवर, घनश्याम यादव तथा समिति परिवार उपस्थित था। इस अवसर पर अटल जी के पोस्टर का अनावरण भी किया गया।