जो जीवनप्राण देता है,सहारा घरका होता है नहीं कहता वो ईश्वर है,रब से कम नहीं होता मिले बल ताप ऊर्जा,सृजन पोषण ये होता है नहीं है बात सूरज की,रवि से कम नही होता मिले चहुँओर से छाँया,शीत व ताप से रक्षण नहीं बातें अम्बरकी,गगन से कम नहीं […]

मुरलीधर कुंजबिहारी तेरी है महिमा न्यारी मटकी फोड़े माखन ले कई नाम तेरे बनवारी। मुरलीधुन सुनकर मोहित गाय गोप नर नारी ।। मोहनि तेरी सूरत पै सौ सौ अनंग बलिहारी। मुरलीधर कुंजबिहारी तेरी है महिमा न्यारी। रक्षक शरणागत के हो कुछ कृपा करो गिरधारी।। विश्व गुरु बन बैठे जब गीता […]

जय हो जय हो नंद गोपाल, आ जाओ अब बाल गोपाल, मथुरा है दर्शन की प्यासी, इन्तेजार में हर ब्रजवासी, तुमको अब आना ही होगा, कंस को अब मिटाना ही होगा, तुम्हारे चरण छूने को यमुना तैयार, आ भी जाओ अब नंद के लाल, नभ में चमके बिजली घनघोर, आ […]

माँ देवकी वासुदेव आएंगे कंस जेल मे फिर से भैया आधी रात को जन्म लेंगे फिर से  कृष्ण कन्हैया अत्याचारियो का संघार करेंगे विकारों का सर्वनाश करेंगे गोपियो की लाज बचाएंगे मुरली ज्ञान सबको सुनाएँगे पतित से पावन हमे बनाएंगे योगीराज श्री कृष्ण कन्हैया उनके मुख में ब्रह्माण्ड  मिलेगा श्रीमद् […]

तरुण रहोगे सबके मन में तुम शाश्वत अमरत्व रूप ! धर्म ध्वजा फहरेगी यूं हीं खिल रहेगा रंग अनूप ! तुमने सबको समझाया है जीवन कैसे जीना है ! जिनवर की वाणी के रस को कैसे निश दिन पीना है ! तरुण चले तुम आज छोड़ कर बीच भंवर में […]

जब मोहब्बत था तो छुपाते क्यों रहे आग समंदर में फिर लगाते क्यों रहे ।।1।। जब जाना था ज़माने में रुसवा करके तो भरी महफ़िल में हक़ जताते क्यों रहे ।।2।। एक जुदाई भर की तुम्हारी हद थी तो हर मौसम मुझे अपना बताते क्यों रहे ।।3।। जब खत्म ही […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।