खड़े मिल गए चौराहे पर आज मुझे श्री राम बोले अब मैं लौट चला वापस फिर सुरधाम।। यहाँ जरूरत नहीं किसी को अब पुरुषोत्तम श्री राम की सर्वोच्च न्यायालय करे फैसला पहले मेरे जन्म स्थान की।। नाम पर मेरे रोज यहाँ न जाने कितने परिवर्तन होते रोज नए वादे होते […]
बचपन में तू शोर शराबे से कितना घबराता था गर थोड़ा सा मैं ना दिखूँ तो तू कितना डर जाता था ॥ दिवाली पर फुलझड़ियों की चिंगारी दिख जाए तो तेज पटाखे के शोर से भाग के घर में आता था ॥ अब गोली बारूदो की आवाज़े कैसे तू सह […]
हिन्दी दिवस विशेष…….. सबसे सरल सहज है हिन्दी सबसे पावन निर्मल हिन्दी शब्द अलौकिक अर्थ अनेक विषय विश्व का है बस एक जिसपर गर्व हमें है रहता हिन्दी हैं हम, मन है कहता हिन्दी मन की अभिलाषा है हिन्दी जीवन की आशा है अद्भुत, अद्वितीय ,अनुपम हिन्दी भाषा का श्रृंगार […]
बैठे- बैठे रोज़ मैं तकती आसमान में चिड़िया को , बार-बार पूछा करती अपनी सुंदर गुड़िया को , मन करता है उड़ जाऊ मैं एक पल को आकाश में , मुझको गुड़िया समझाती थी पंख कहाँ तेरे पास है, मैं छोटी थी समझ न पाती गुड़िया से झटपट लड़ जाती […]
कोई धुन खुशी का बजाकर तो देखो, कभी बेवजह मुस्कुरा कर तो देखो, ये दुनियाँ तुम्हारे कदम चुम लेगी कदम एक आगे बढ़ाकर तो देखो!! कोई धुन खुशी का………… ये नदियों का कल,कल, हवाओं का सन, सन तुम्हे भी कोई गीत लगने लगेगा कोई प्रेम का गीत गाकर तो देखो!! […]
मिसेज शर्मा -अरे आप आज ऑफिस नही गई ? मिसेज वर्मा -हाँ वो मेरी बाई नही आयी ! मिसेज शर्मा -फ़िर वही बहाना क्या ? बड़ी कामचोर है ! लेकिन उसका बच्चा तो अब डेढ़ साल का हो गया होगा ना ! मिसेज वर्मा -हाँ और क्या ! बच्चे की […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।