वट सावित्री पूज कर,जो रखती उपवास।
धन्य धन्य है भारती, प्राकत नारी आस।।
ढूँढे पूजन के लिए, बरगद दुर्लभ पेड़।
पथ भी दुर्गम हो रहे, हुई कँटीली मेड़।।
पेड़ सभी है काम के, रखना इनका ध्यान।
दीर्घ आयु होता सखे, वट का पेड़ महान।।
पुत्र सरीखे पालिए, सादर तात समान।
फूल छाँव फल दे यही, ईंधन काष्ठ प्रमान।।
बरगद पीपल पूजना, हो तब ही साकार।
पौधारोपण से करें, धरती का शृंगार।।
नाम– बाबू लाल शर्मा
साहित्यिक उपनाम- बौहरा
जन्म स्थान – सिकन्दरा, दौसा(राज.)
वर्तमान पता- सिकन्दरा, दौसा (राज.)
राज्य- राजस्थान
शिक्षा-M.A, B.ED.
कार्यक्षेत्र- व.अध्यापक,राजकीय सेवा
सामाजिक क्षेत्र- बेटी बचाओ ..बेटी पढाओ अभियान,सामाजिक सुधार
लेखन विधा -कविता, कहानी,उपन्यास,दोहे
सम्मान-शिक्षा एवं साक्षरता के क्षेत्र मे पुरस्कृत
अन्य उपलब्धियाँ- स्वैच्छिक.. बेटी बचाओ.. बेटी पढाओ अभियान
लेखन का उद्देश्य-विद्यार्थी-बेटियों के हितार्थ,हिन्दी सेवा एवं स्वान्तः सुखायः