आओ चलें अमर इतिहास के कुछ पन्ने पलटाते हैं, आज हम झाँसी वाली रानी की अमर गाथा सुनाते हैं। काशी के ब्राह्मण कुल में जन्मीं प्यारी मनु सुकुमारी थी, बचपन से ही प्रिय खड्ग और अश्व की सवारी थी। शौर्य और वीरता की झलकती अद्भुत कहानी थी, खूब लड़ी अंग्रेजों […]

2020 के बिहार विधान सभा चुनाव में इस बार देश का मुख्य मुद्दा बहुत ही मजबूती के साथ उठाया गया यह एक बहुत बड़ा कदम है क्योंकि जाति और धर्म की परिकरमा करती हुई सियासत की दशा और दिशा जिस तरह से नौकरी एवं रोजगार की ओर मोड़ने का प्रयास […]

परमात्म ज्ञान जिसको मिला उसका समझो भाग्य खिला सत्य उसको भा जाता है चरित्र उत्थान हो जाता है पावनता का सुख मिलता है शांतिमय सा मन खिलता है प्रेमरस की बहती है गंगा किसी तरह का न हो पंगा परमात्म याद मे खोये रहे रूहानियत मे खुद को डुबोये रहे […]

तर्ज : (हम मेहनत कस इस दुनिया से अपना …..) हम आदिनाथ की भक्ति को श्रुतधाम जाएंगे। एक बार नही सौ बार नहीं हम जीवन भर जाएंगे। हम आदिनाथ की……।। माया के चक्कर में पड़कर अपना जीवन तू गवा रहा। और झूठ फरेब करके तू दौलत बहुत कमा रहा। ये […]

कर ले अच्छा काम प्यारे वर्ना फिर पछतायेगा प्यारे मुठ्ठी मे रेत की तरह समय हाथ से फिसल जायेगा प्यारे स्वार्थ मे लिपटे अपने तुम्हारे कभी काम न आएंगे प्यारे आएगी तेरे जाने की बारी अकेला ही तू जायेगा प्यारे जिनको अपना समझ रहा है वे ही पांचो विकार है […]

प्यार भरा हो हर रिश्ते में,गलतफहमी से ना हो विदाई! दीवाली का पर्व आया, चलो दिल की भी करें सफाई!! सम्मान हो हर फौजी का,किसान ना सड़को पर आए! अपनापन दिखे हर किसी मे,नालगें कोई हमको पराये! हर पेट को रोटी मिले, गरीबी व बेरोजगारी मिट जाए! बरसात हो ऐसी […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।