नीहार गीते के कहानी संग्रह मेहंदी लिया मोतीझील से के विमोचन सम्पन्न इंदौर। ‘जो नहीं कहा गया, उसको कहने का उपक्रम है कहानी।साहित्यकार ने परकाया में प्रवेश कर लिखा।’ यह बात वरिष्ठ कवि एवं कुशल संचालक श्री सत्यनारायण सत्तन के हैं, जो उन्होंने वरिष्ठ कथाकार नीहार गीते के कहानी संग्रह […]

संस्मय सम्मान से श्रीमती मंगल सम्मानित इन्दौर। संस्मय प्रकाशन द्वारा आयोजित पुस्तक विमोचन व सम्मान समारोह में लेखिका प्रेम मंगल द्वारा लिखित संस्मय प्रकाशन द्वारा प्रकाशित तीन पुस्तक पैमाना(कहानी संग्रह), गर भूख न होती(काव्य संग्रह)और दीया मेरी भावना का(काव्य संग्रह) का विमोचन वरिष्ठ पत्रकार मुकेश तिवारी के मुख्य आतिथ्य में […]

कुक्षी-युवा मंच द्वारा स्व. राजेन्द्र खानविलकर की प्रथम पुण्य तिथि पर शारदा सृजन मण्डल के कवियों द्वारा काव्यमय प्रस्तुति देकर श्रद्धांजलि अर्पित की गई । मंच पर अतिथि के रूप में व्याख्याकार व ज्योतिषाचार्य कैलाशचंद्र शर्मा , डॉ. ओ पी गुप्ता ,संरक्षक मण्डल के मनोहर मण्डलोई , प्रकाशचंद्र गुप्ता , […]

लघुकथा संग्रह ‘एलबम’ पर चर्चा सम्पन्न प्रांजलता, लालित्य से भरपूर है एलबम- श्री राठी इन्दौर । ‘जीवन में व्यक्ति कितना भी अवसाद ग्रस्त हो, पुराने एलबम को देखिए, वो अवसाद से बाहर ले आएगा, इसी तरह का यह शीर्षक और संग्रह है। यह संग्रह भारतीयता को मज़बूत करता संग्रह है। […]

इन्दौर । हिन्दी प्रसार के लिए मातृभाषा उन्नयन संस्थान द्वारा गुरुवार को लेखिका यशोधरा भटनागर के लघुकथा संग्रह ‘एलबम’ पर चर्चा का आयोजन स्थानीय श्री मध्यभारत हिन्दी साहित्य समिति में अपराह्न चार बजे किया जाएगा। इस आयोजन में मुख्य अतिथि साहित्य अकादमी के निदेशक डॉ. विकास दवे व अध्यक्षता वरिष्ठ […]

● डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ सत्ता और संघर्ष का चोली दामन का साथ है। इस समय जब देश के सबसे पुराने राजनैतिक दल को बीते माह हुए पांच राज्यों के चुनावों में करारी शिकस्त मिली हो, तब आत्ममंथन अत्यावश्यक हो जाता है। कांग्रेस इस समय ऐसे बुरे दौर से गुज़र […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।