हिन्दू धर्म की मान्यता के अनुसार कुल इक्यावन शक्तिपीठ हैं।जिनमें से माता सती की नाभि गिरने के कारण यह स्थान मां पूर्णागिरी के नाम से संसार में प्रसिद्ध हुआ। हिमालयी राज्य उत्तराखंड के चम्पावत जिले में स्थित यह अपार स्नेह का केन्द्र निकटवर्ती शहर टनकपुर से इक्कीस किलोमीटर की […]

वूमन आवाज’ का दूसरा अंक मेरे हाथों में है, और मैं सम्मोहित हो रही हूं उस के  आवरण पृष्ठ को देख कर।   इतना अर्थपूर्ण और -सुन्दर  है  आवरण पृष्ठ कि नज़र हटाने का मन ही नहीं करता।   मैं  शिखा जी से पूर्णत: सहमत हूं कि  ”  एक स्त्री […]

देश के अन्नदाता की आंखों को सुख देने वाली फसल और खेत में जब मुस्करायी सरसों इठलाने लगी अलसी आम बौराये गये कि – बैण्ड बाजे के साथ बादल आ गए बारात घरों सी रोशनी मंगाकर चमकी बिजली चलने लगीं जोर जोर की हवायें कहीं अंधड़ कहीं बरसात कहीं कहीं […]

इतिहास के दरख़्त के नीचे जब भी खड़े होते है तब इतिहास का इकबाल यही बोलता है कि यमुना की जमीन के अंदर जितनी चमक है उससे कहीं ज्यादा आगरा के ताजमहल की खूबसूरती का इकबाल आसमान में छिपा हुआ है । यह कैम्ब्रिज और ऑक्सफोर्ड का इतिहास बोलता है […]

पूरा देश एक बार फिर लोकसभा चुनाव के लिए तैयार हो रहा है। चुनाव आयोग हो या विविध राजनीतिक दल सबके सब सक्रिय हो गये हैं। पक्ष और विपा सज रहे हैं अपनी अपनी तैयारियां हैं और अपनी अपनी रणनीति भी।भारत में राजनीति ही ऐसा क्षेत्र है जहां कोई किसी […]

नमन उन वीर शहीदो को, अमर हुई निशानी है। देह देकर भारत माता को, अमर हो गयी कहानी है। धन्य हुई मां जनकर जिसको दूध जिसका बलिदानी है। देगे मुहतोड जबाब कसम ये हिन्दुस्तानी है। पत्नी , बेटी परिवारी जन दुखित है आंखो मे पानी है। कहते वीर न हो […]

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संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।