त्रेता युग के प्रणेता से सीख मानव जीवन युद्ध लड़ना सीख राम से त्याग का अर्थ प्रश्न नहीं, शंका नहीं, संकोच नहीं मात-पिता, गुरुजन का आदेश सिर माथे धरना सीख राम से सहर्ष वचन निभाना जीवन युद्ध में सही समय पर तीर चलाना गुरू की वाणी, बड़ों की शिक्षा, कुल […]

बरस यह अद्भुत नवेला आया, चरण रामलला के अयोध्या लाया। राजीव लोचन अवध पधारे, सिया संग लखन भी पैर पखारे। हनुवंत संग वानर सेना भी आए, अवधवासी सेवा कर मुस्कराए। नित्य धूप-दीपारती साँझ सवेरे, भाग्यवान है इस स्वर्ग में सारे। राम राज्य आते देख नैनों से, जन्म सफल है देह […]

मर्यादा पुरुषोत्तम हैं राम, सबके मुख पर हैं बस राम ही राम। राम नहीं किसी एक धर्म के, राम नहीं किसी एक वर्ण कै। सबके दिल में रहते राम, सुबह बोलो या बोलो शाम। हिन्दुस्तान में है मंदिर राम, पाकिस्तान में भी मंदिर राम। ब्रिटेन में है मंदिर राम, अमेरिका […]

आओ, फूल बरसाओ सखी री, रामलला घर आए हैं, मंगल गान गाओ सखी री, रामलला घर आये हैं।। जूही, बेला और चमेली, केवड़ा भी तो लाओ री, इत्र–चंदन लाओ सखी री, रामलला घर आए हैं।। ढोल-मंजीरा ख़ूब बजाओ, और संग मृदंग भी, ज़ोर से शंख बजाओ सखी री, रामलला घर […]

था एक दृढ़ संकल्प नहीं था कोई विकल्प, दुनिया में है अब एक विशाल पवित्र प्रकल्प। अपार सद्गुणों के महासागर प्रभु श्रीराम, परहित जन्में राम, परहित किए सदकाम। रामराज्य लाने हित जिएँ हम सब आठों याम, संगठित सज्जन रामकाज किए बिना नहीं करें विश्राम। भारतीय संस्कृति का है मूल आधार […]

राम नाम की महिमा न्यारी राम-कथा कहें हम प्यारी वाल्मीकि ने कही अनूठी तुलसी कहें मन को छूती कहें आज हम अपनी वाणी कहें राम-कथा हम न्यारी जय सियाराम, जय सियाराम। कौशल्या-दशरथ के आँगन मनुज रूप धर आए राम त्याग अपना बैकुंठ धाम बालक बन खेले प्रभु राम घुटुरुनि चलें […]

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संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।