वड कलै- तेन्कलै वाद विवाद. भगवान विष्णु को मानते हैं . पर तिलक -U आकार या Y आकार इस के लिए बुद्धिहीन पशु सा लड़ते हैं . किसने सवाल किया है , उसको साहस है किया — अल्ला किसका भगवान है सिया का ,सुन्नी का या लाब्बे का? ईसा मसीह […]

झूमें नाचें गाएं हम खुद हर्षें  व सबको  हरषायें हम, व्रृक्षारोपण के द्वारा धरती को स्वर्ग को बनायें हम। धरती का रूप सजाकर हरियाली की चादर ओढायें हम, हरी-भरी  कर धरती  को  दुनिया जग   हरयाएँ  हम । माँ से बढकर धरती माँ हैअपना फर्ज  निभाएँ  हम, पूजा करके मात्रभूमि का […]

भ्रूण किया गुहार ऐ माँ बड़ी मिन्नतो के बाद , विधाता ने दिया , तेरी कोख मे स्थान , माँ मुझे दे वरदान , कृपा कर जीने का । क्या तू मुझे देख नहीं सकती ? तो मुझसे क्या.?कोई ममत्व नहीं , क्यों….? क्रूर बन , करवाती हो भूण हत्या […]

1. पालन पोषण पेड़ प्रिय,परम्परा पितभाँति। पर्यावरण प्रतीत पर, पंछी पथिक  पदाति।। 2. पौरुषपथ पहचान पुरु,पूत पेड़ प्रतिपाल। प्रतिघाती पर्यावरण, पातक  पड़े पताल ।। 3. पल पल प्रण पूरा पड़े,पर्यावरण प्रदाह। पान पताशा पाहुना, पूजन पेड़  प्रवाह।। 4. पेड़ पर्वती पर्यटन, पथजलीय पतवार। परमेश्वर पति पार्वती,पर्यावरण प्रसार।। 5. पेड़ परिक्रम […]

दस साल का रोहित अपने पड़ोस में सभी का और अपने घर में सभी का प्यारा था। आसपास के लोग और खुद उसके घर के लोग भी उससे बहुत प्यार करते थे।आस पड़ोस में सबसे अधिक प्यार तो रोहित को पड़ोस में रहने वाली आँटी वीना करती थी। वीना आँटी […]

रिमझिम इमझिम वर्षा रानी रोज सुना रही हमे कहानी गरज गरज कर बादल आते छम चमा छम पानी बरसाते बम बम भोले की गूंज है जारी भक्ति हो गई वर्षा पर भारी गोमुख ,ऋषिकेश,हरिद्वार धरा से कांवड़िये ला रहे गंगा जल भर के जय बम जय बम स्वर व्याप्त है […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।