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कलम उठाकर नमन मैं लिख दूँ वीरों के बलिदान को जिसने अब तक जिंदा रक्खा है भारत की पहचान को! गौरवशाली इस भूमि का मान बढ़ाया है जिसने अपना शीश काटकर भी सम्मान बचाया है जिसने जिसने अपनी जान गंवाकर लाज बचाई माटी की प्राण न्यौछावर करके रक्षा की भारत […]

सवाल का जवाब सवाल में ही मिला मुझे …….! वो शख्स मेरा ख़्याल था, ख़्याल में ही मिला मुझे !! फिर भी न जाने ये दिल, क्यों यहाँ वहां पर भटकता है ! जबकि मुझे पता है, मेरे ख्यालो का राजा, मुझे ख्यालो में ही मिलता है !! गमे ख्यालो […]

तुम्हारा जल तुम्हे ही अर्पित मेरा मन हो रहा है हर्षित सारे विकारो से मुक्ति दो पावन बनने की शक्ति दो हे सच्चिदानन्द सुख के सागर तुम हो प्रेम के महासागर दुनिया के रचियता तुम हो जन जन के स्वामी तुम हो शिव रूप मे कल्याण करते मनोकामना सबकी पूर्ण […]

मेरे अज़ीम मुल्क़ से ही मेरी पहचान है मंदिर की घंटी,मस्जिद की अजान है सब नेमतें अता कर दी मुझपे मेहरबां होके मेरा मुल्क ही सिर्फ मेरे लिए भगवान है माँ के आँचल की तरह हिफाज़त की है हर ज़ख़्म से बचा लेगा,इतना इत्मीनान है इन्द्रधनुष से भी ज्यादा रंग […]

🌹🌹अभिमन्यू अनत🌹🌹 ************************** 9 अगस्त 1937 में मॉरीशस के उत्तर प्रान्त के त्रियोल गाँव मे जन्मे अभिमन्यू अनत जी को मॉरीशस के हिंदी कथा में “साहित्य सम्राट” का दर्जा प्राप्त था। उपन्यास,कहानी, कविता,निबंध पर इनको समान अधिकार प्राप्त था।हिंदी साहित्य की श्री दृष्टि में इनका अमूल्य योगदान रहा। अभिमन्यू अनत […]

1. धरा सनातन बस रहे,प्राणी विविध प्रकार । पर्यावरण  स्वच्छ  रहे, पेड़  लगा विस्तार।। 2. धरती पर जल थल हवा,सभी सजे आबाद। पर्यावरण  सनातनी ,रहे  नहीं  क्यों  याद।। 3. ईश,प्रकृति,मर्त्य रची, ये सब ले पहचान। समझो भाव विवेक से ,पर्यावरण समान।। 4. नित निमित्त स्व विकास के,रचते हैं इतिहास। बहका […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।