इस्लामाबाद में श्री कृष्ण मन्दिर के विरोध ने स्वयं-सिद्ध किया सीएए का औचित्य: विहिप

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    नई दिल्ली। जुलाई 18, 2020। विश्व हिन्दू परिषद् ने आज कहा है कि इस्लामाबाद में श्री कृष्ण मंदिर की स्थापना का हिंसक व हिंदूओं के प्रति घृणा से भरा व्यापक विरोध पाकिस्तान में हिंदुओं की दुर्दशा को बताने के लिए पर्याप्त है। विहिप के केन्द्रीय संयुक्त महामंत्री डॉ सुरेन्द्र जैन ने कहा कि जब एक पाकिस्तानी पूर्व जज यह कहता है कि पाकिस्तान में मंदिर निर्माण गैर संवैधानिक और शरीयत विरोधी है तो वहां हिंदू समाज के अस्तित्व की संभावनाएं तो स्वत: समाप्त हो ही जाती हैं, साथ ही, नागरिकता संशोधन अधिनियम का औचित्य भी स्वयं-सिद्ध हो जाता है।

    कर्णावती में विहिप ने उत्तर गुजरात प्रांत की बैठक के समापन सत्र को सम्बोधित करते हुए उन्होंने कहा कि 5 साल के बच्चे से लेकर मुल्ला-मौलवी तक पाकिस्तान में मंदिर बनने पर हिंदुओं के कत्लेआम की धमकी दे रहे हैं। हिन्दू लड़कियों का जबरन अपहरण, बच्चों की जबरन सुन्नत और हिंदुओं के सार्वजनिक अपमान के कारण अपनी इज्जत, जीवन व  स्व-धर्म की रक्षार्थ यदि वे भारत में नहीं आएंगे तो आखिर कहां जाएंगे?

    डा जैन ने पूछा कि नागरिकता संशोधन अधिनियम का विरोध करने वाले क्या पीड़ित हिंदुओं के साथ इस्लामिक अत्याचारियों को भी भारत बुलाना चाहते हैं? क्या बलात्कार की पीड़ित ग्रंथी की बच्ची के साथ वे बलात्कारी को भी भारत बुलाना चाहते हैं? डॉ जैन ने कहा कि CAA का विरोध वास्तव में मानवता का भी विरोध है।

    डॉक्टर वणीक्कर भवन, अहमदाबाद में उत्तर-गुजरात प्रांत की इस बैठक में बताया गया कि प्रांत के 750 स्थानों पर 3000 कार्यकर्ताओं ने भोजन वितरण, मास्क वितरण, काढे का वितरण आदि सेवा कार्य किए जिनसे सवा लाख  से अधिक लोग लाभान्वित हुए। सभी कार्यकर्ताओं ने संकल्प लिया कि अब उत्तर गुजरात के सभी खंडों में विहिप की समिति बनाई जाएगी और रक्षाबंधन पर इन सब स्थानों पर कोरोना योद्धाओं को रक्षा सूत्र भेजे जाएंगे। बैठक की अध्यक्षता विहिप के क्षेत्र अध्यक्ष एडवोकेट दिलीप भाई ने की। इसमें अशोक भाई रावल, राजू भाई वसावा, गोपाल भाई, अश्विन भाई आदि अधिकारी प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।

जारीकर्ता
विनोद बंसल
राष्ट्रीय प्रवक्ता, विश्व हिंदू परिषद

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डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।