जीना मरना तेरे संग है। तो क्यो और के बारे में सोचना। मिला है तुम से इतना प्यार। तो क्यो गम को गले लगाना। और हंसती खिलखिलाती जिंदगी, को भला क्यो रुलाना। अरे बहुत मिले होंगे तुम्हे प्यार करने वाले। पर दिल से मोहब्बत करने वाला में ही होगा।। आज […]

कभी आश्चर्य होता है, किस तरह से हमारे मनीषियों, ऋषियों, दिव्य विभूतियों ने,चारों युगों के, गुण धर्मानुसार नामकरण किए। शायद उन्हें पता था, कि चौथा युग होगा ऐसा कलयुग, जहां के कलयुगी प्राणी, कल पुर्जों से घिरे रहेंगे। यंत्र चालित से संवेदनहीन रहेंगे, धुँआ खाएंगे ,धुआँ छोड़ेंगे और धुआँ ही […]

दिवाली वैसे तो खुशी का त्योहार है, हर कोई चाहता है की उसके जीवन में दिवाली आए पर कुछ लोगो को लगता है कि भगवान करे इस बार दिवाली नहीं आए क्योंकि दिवाली आने के पहले ही उनको टेंशन शुरू हो जाती है और दिवाली के बाद तो उनका जीना […]

मेरी बातों पर कुछ ऐसे वो शर्माती थी,, रख कर उंगली होठों पर वो मुझे चुप कराती थी,, कैसे भूलू वो मिलन की रातें, कैसे खुद को समझाऊ क्या होती है विरह वेदना, क्या तुमको बतलाऊं, मेरे हाथों से कैसे वो अपने हाथों को छुड़ाती थी,, रख कर उंगली अपने […]

हरियाणा विधानसभा चुनाव में भाजपा और कांग्रेस की कांटे की टक्कर के बीच दुष्यंत चौटाला की जननायक जनता पार्टी किंगमेकर बनकर उभरी है। हरियाणा विधानसभा चुनाव के परिणामों के मुताबिक दुष्यंत चौटाला की जननायक जनता पार्टी (जजपा) प्रदेश में किंगमेकर की भूमिका निभा सकती है। हरियाणा की 90 विधानसभा सीटों […]

कोई तो हमको समझाये, होती कैसी दीवाली! तेल नदारद दीया गायब, फटी जेब हरदम खाली। हँसी नहीं बच्चों के मुख पर,चले सदा माँ की खाँसी। बापू की आँखों के सपने, रोज चढ़ें शूली-फाँसी। अभी दशहरा आकर बीता,सीता फिर भी लंका में। रावण अब भी मरा नहीं है, क्या है राघव-डंका […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।