नई दिल्ली। तीन साल बाद प्रगति मैदान में आयोजित हो रहे विश्व पुस्तक मेले में साहित्य प्रेमियों के लिए विशेष महत्व वाला रविवार रहा। यह विश्व पुस्तक मेला आगामी पाँच मार्च तक चलेगा। उल्लेखनीय है, कि विश्व के सबसे बड़े पुस्तक मेलों में से एक नई दिल्ली विश्व पुस्तक मेला […]

नई दिल्ली। कोरोना की भयावहता के तीन वर्षों बाद विश्व पुस्तक मेला का आयोजन हो रहा है। मेले में पुस्तक प्रेमियों का उत्साह अधिक रहा। पहले दिन भी हज़ारों पुस्तक प्रेमी मेले में शिरक़त कर किताबें ख़रीद रहे थे। प्रगति मैदान, दिल्ली में आयोजित हो रहे विश्व पुस्तक मेला की […]

मातृभाषा को शिक्षा और व्यवहार में लाएं- श्री कोकजे मातृभाषा उन्नयन संस्थान का प्रतिष्ठा प्रसंग समारोह सम्पन्न इन्दौर। मातृभाषा उन्नयन संस्थान द्वारा रविवार दोपहर आयोजित समारोह में वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. भगवती लाल राजपुरोहित और भारतीय जनसंचार संस्थान के महानिदेशक प्रो. संजय द्विवेदी को हिन्दी गौरव अलंकरण से अलंकृत किया गया। […]

एक प्रकाशन रचनाकार के शब्दरंगों से सपनों का बुनकर होता है। एक रचनाकार, जो अपने सृजन को डायरी के पन्नों तक सीमित कर देता था, उसके सार्थक सृजन को गुणवत्ता की चाशनी में डूबा कर, रंग और आकार के साथ पाठक की उन्नत और वैचारिक मानसिक खुराक बनाने का कार्य […]

इंदौर। पर्यावरण संरक्षण अनुसंधान एवं विकास केन्द्र द्वारा प्रकाशित राष्ट्रीय मासिक पत्रिका ‘पर्यावरण विकास’ 23 वर्षों की यात्रा पूर्ण कर चुकी है। शुक्रवार दोपहर केंद्र के इंदौर स्थित कार्यालय पहुँचे विचार प्रवाह साहित्य मंच के अध्यक्ष मुकेश तिवारी व मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ को […]

शिक्षा मंत्री श्री परमार का आश्वासन, बाल साहित्य को पाठ्यक्रमों में करवाएंगे सुलभ इन्दौर। देश के प्रख्यात बाल साहित्यकार डॉ. नागेश पांडेय ‘संजय’ शाहजहाँपुर उ.प्र. प्रसिद्ध बाल पत्रिका मासिक देवपुत्र द्वारा प्रतिष्ठित देवपुत्र गौरव सम्मान से सम्मानित किए गए। समारोह की अध्यक्षता प्रदेश के स्कूली शिक्षा मंत्री मा. इंदरसिंह जी […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।