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मन हावी जब हो जाता है
विकार घर कर जाता है
घुण बन स्वयं को खाता
शांति फिर कभी न पाता
काम,क्रोध हावी हो जाते
मोह,लोभ छुट न पाते
अहंकार भी डेरा जमाता
बुद्धि भी हर ले जाता
मन पर अपने नियंत्रण करो
जो अच्छा हो वही करो
विकारमुक्त हो जाओगे
पतित से पावन बन जाओगे।
#श्रीगोपाल नारसन
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