हमारे प्रिय नेताजी छीन-झपट कर बैठे न सुधरे जनता से छल-कपट कर बैठे सड़कें ख़राब थी बिजली भी नहीं आती हम बिजली के बटन चट-पट कर बैठे दिमाग़ आज हमारा बहुत ख़राब हुआ घर पर हम पत्नी से खट-पट कर बैठे अब बदला लेने की ठान ली थी इसलिए बाक़ी […]

(काव्यधारा पीयूष के साथ काव्यधारा रत्न सम्मान भी मिला) दौसा।  3अक्टूबर,18 को रामपुर शिवांश होटल एण्ड रेस्टोरेंट, साई काम्प्लेक्स रामपुर मे दौसा निवासी कवि कृष्ण कुमार सैनी”राज को साहित्य के क्षेत्र में *काव्यधारा-पियूष और काव्यधारा-रत्न सम्मान* से सम्मानित किया गया। *सैनी की साहित्य में बढ़ती हुई रूचि और सहभागिता के […]

कुछ विष भी पीना पडता है, अमृत से मीठे होठो को, आखो का खारा जल केवल, पीने हे काम नही चलता, अक्सर सूरज के रहते भी, है राते काली होती, रह जाती है धरती सूखी, बरसाते फिर भी है होती, हर सूरज है ज्योति चुराता, हर चाद अन्धेरा है देता, […]

जब चला था कर शुभारम्भ तब नहीं था ज्ञात उसको कि मिलेगी राह उसको या दबेगी चाह उसकी पर बनाये हाथ से अपने सुसज्जित और सुंदर रथ पे उसको गर्व था विश्वास भी कि यह चलेगा औ बढेगा पर नहीं कुछ विपद् पा कर के रुकेगा औ बढाया रथ को […]

चिंतन करने से क्या होगा साथ जो चोरों का दोगे, अनुदिन लिखने से क्या होगा साथ जो चोरों का दोगे! ००० ग्राफ बढ़ रहा क्योंकर प्यारे निशिदिन कविता चोरी का, बात ये रटने से क्या होगा साथ जो चोरों का दोगे! ००० मंच सजाते तुम जब सँग में बड़े शौक़ […]

माता पिता है जग में सबसे बडा खजाना दोनों चाहते संतान को अपने से आगे ले जाना खून पसीना बहाकर संतान का करते पोषण संतान के कैरियर को बेच देते सब आभूषण इस मेहनत के बलबूते जब बच्चे हो कामयाब माता पिता का ध्यान रखकर वे दे उन्हें पूर्ण  सम्मान […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।