संजय कहता है, की खुद”को I खुद के अंदर,ही सर्च करो I अपने कर्माें पर भी कभी, तो रिसर्च करो तभी हमें अपने जीवन का,सही मूल्यांकन मिलेगा / की हम कितने सही और कितने गलत हैI यही सब हमें और आप को पता चलेगा।I अहम् से ऊँचा ,कोई आसमान नहीं। […]
नवरात्रि का आया प्यार पावन त्यौहार, आओ पूजे माँ के नो रूपो को बारंबार, माँ दुर्गे को चौथे दिन जिस रूप पूजा जाता है, वो रूप माँ का कुष्मांडा कहलाता है, सुंदर रूप शुशोभित इनकी सुंदर है मुस्कान, जब सृष्टि नही थी और हर और अंधेरा छाया था, तब अंड […]
1. किस्मत के भरोसे ना बैठ सफलता तेरी राह देख रही है आज हुनर तो दिखलादे उन्नति तेरी कला देख रही है। 2. आज कर दृण निश्चय की पत्थर तू पिघलाएगा और हिम्मत की कलम से लिख यह जमाना तेरा हो […]
माता का तीसरा स्वरूप चंद्रघंटा का है । चंद्रघंटा का अर्थ है चंद्रमा घंटा के रूप में जिसके मस्तक पर शोभित है । “चंद्र: घंटायां यस्या: सा चंद्रघंटा ।” इस रूप के प्रतीक के रूप में माँ के रूप 10 हाथ दिखए गए हैं ; जो कि 5 कर्मेन्द्रिय और […]
प्रीत से सब जीना सीखे गैर को अपना बनाना सीखे सद व्यवहार हो सबके प्रति निर्लेप भाव अपनाना सीखे जगत में पराया कोई नहीं सब है ईश्वर की संताने भाषा,मजहब अलग अलग आत्मा एक सी विदेही हो बाते संसार एक कुटुंब वृक्ष है प्यारे सब मानव इसके पत्ते हरा भरा […]
‘स्वच्छता ही सेवा ‘ विशेषांक गोपाल कौशल की कविताओं एवं बच्चों द्धारा रेखांकन व् कविताओं से भरा सुन्दर गुलदस्ता है | जिसमे स्वच्छता के मायने क्या होते है को बेहतर तरीके से बताया है ताकि अन्य भी इस पत्रिका से प्रेरणा लेकर स्वच्छता ही सेवा के भाव में सम्मिलित हो के […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।