सुनीता सुबह से ही बैचेन थी । उसके सामने रह-रह कर विजय का चेहरा घूम जाता था । उसे तो अभी ही पता चला था कि विजय को कोरोना हो गया है । कोरोना का खौफ और विजय की याद उसे परेशान कर रही है । एक तो वह वैसे […]
‘‘इतने रूपये में कोई मोबाइल नहीं आता…….’’ । मित्र के चेहरे पर नाराजगी के भाव आ गये थे । ‘‘देखो सेठ जी यह रखे तो दो सौ रूपये है और मांग रहा है एनराइड मोबाइल……’’ । दुकान के कर्मचारी की आवाज में तिरस्कार था । ‘‘मेरे पास तो इतने ही […]
आज सुबह से ही शर्मा जी अपने घर के मुख्य द्वार के सामने ही बैठे थे । उनकी निगाहें बार-बार सड़क की ओर चली जातीं पर सारी सड़क तो सूनी थी । कोई चहल पहल नहीं थी । सुनसान सड़क को देखने की अब तो उनकी आदत हो गई । […]
मेरे जीवन का आधार है हिंदी, भारत मां की आवाज है हिंदी, हिंदू, मुस्लिम,ईसाई या हो सिंधी, सबकी प्यारी भाषा होती है हिंदी। हिंदी भाषा प्रेम का गागर है, हमारी संस्कृतियों का सागर है, प्राचीन संस्कृति को हमें बचाना है, हिंदी को विश्व पटल पर लाना है। बावन अक्षरों का […]
कलियाँ खिलेंगी मधुबन में फिर मुरझा जाएँगी, भेदभाव के दुर्भाव से गर्भ में सहमी बच्ची फिर मार दी जाएगी, भारत रो रहा है देश सो रहा है ऐसी दशा होगी सोचा न था.. सदियों से पूजित नारी पति से दुत्कारी जाएगी, ऋषि-मुनियों की धरती पर भी उनकी जान जाएगी, भारत […]
एक गर्भस्थ कन्या शिशु की पुकार माँ ओ। माँ सुन रही हो न माँ! मैं तुमसे कुछ कहना चाहती हूं । मैं तुम्हें देख नहीं सकती , पर तुम्हारी कोख में पल रहीहूं। जब मुझे छूती हो तो ख़ुशी से फूल उठती हूँ माँ । मुझे बेटी समझ निकाल न […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।